Lal Bazaar web series Review: मर्डर मिस्ट्री, एक्शन और रोमांच का कॉकटेल बनाने में लाल बाजार नाकाम
भारत में आज दो वेब सीरीज (Web Series) रिलीज हुई है. एक है लालबाजार (Lalbazar), जो कि जी5 (Zee5) पर रिलीज हुई है और दूसरी है आर्या (Aarya), जो डिज्नी हॉटस्टार (Disney Hotstar) पर रिलीज हुई है. लाल बाजार को लेकर काफी उम्मीदें थीं, लेकिन यह वेब सीरीज कुछ खास नहीं कर पाई.
-
Total Shares
भारत में ओटीटी प्लैटफॉर्म पर इन दिनों एक से बढ़कर एक वेब सीरीज रिलीज हो रही है. इस खेल में नेटफ्लिक्स, अमेजन प्राइम वीडियो सबसे बड़े प्लेयर माने जाते हैं. लेकिन इस खेल में स्वदेशी Zee5 भी इन दिनों धमाल मचा रहा है. रंगबाज, काली, RejctX, अभय, द फाइनल कॉल जैसी सफल वेब सीरीज के बाद अब Zee5 पर नई वेब सीरीज लालबाजार रिलीज हुई है, जिसका टीजर खुद अजय देवगन ने रिलीज किया था. गुंडों के खेल में कोलकाता पुलिस की मिलीभगत और कुछ जाबांज पुलिसकर्मियों की कहानी पर आधारित लाल बाजार एक एक्शन थ्रिलर पुलिस क्राइम ड्रामा है. लाल बाजार जी5 पर रिलीज हो गई है और 10 एपिसोड की इस वेब सीरीज में कौशिक सेन, ऋषिता भट्ट, सौरांशी मैत्रा, सब्यसाची चक्रवर्ती, दिब्येंदू भट्टाचार्य, सुब्रत दत्ता समेत अन्य कलाकार प्रमुख भूमिका में हैं.
लाल बाजार कोलकाता का एक फेमस इलाका है, जिसकी सुरक्षा में लगे पुलिसकर्मियों को स्कॉटलैंड यार्ड जैसा जांबाज माना जाता है. लाल बाजार की कहानी पुलिसकर्मी, कोलकाता के ड्रग माफिया, चकलाघर चलाने वालों, गुंडों और पेटी किलर्स को केंद्र में रखकर लिखी गई है जिसमें हत्याएं, गुंडों और पुलिसकर्मियों के बीच मुठभेड़, कुछ करप्ट पुलिसकर्मियों की ड्रग माफियाओं से मिलीभगत समेत कई घटनाएं घटती हैं. लाल बाजार एक्शन, थ्रिलर पुलिस ड्रामा तो है, लेकिन इसमें बहुत कुछ मिसिंग है. स्लो स्टोरी और अन्य भाषाओं में डबिंग के कारण डायलॉग और एक्सप्रेशन में मेल ना खाने की वजह से लाल बाजार कई दफा बेहद सामान्य लगने लगती है. लाल बाजार वेब सीरीज मूल रूप से कोलकाता बेस्ड है, इसलिए बंगाली में है, लेकिन इसे हिंदी के साथ ही तमिल और तेलुगू में भी डब करके रिलीज किया गया है. हिंदी में बेहद स्लो डायलॉग डिलिवरी की वजह से लालबाजार बोझिल लगने लगती है.
लालबाजार की कहानी कनफ्यूजिंग है
जी5 पर रिलीज लालबाजार की कहानी में एक साथ कई लोगों की प्रोफेशनल और पर्सनल दोस्ती, दुश्मनी के साथ ही सामाजिक घटनाओं को दिखाने की कोशिश की गई है, जिसके कारण आप कई बार कनफ्यूज हो जाते हैं कि डायरेक्टर आखिर कहना और दिखाना क्या चाहता है. रंगन चतुर्वेदी ने बीते 2 साल के दौरान भारत में बनी क्राइम, थ्रिलर वेब सीरीज देख कोलकाता की पृष्ठभूमि पर आधारित कहानी लिखने की कोशिश तो की, लेकिन बहुत कुछ दिखाने के चक्कर में दर्शकों को कनफ्यूज कर बैठे. कोलकाता के होमीसाइड (मानव हत्या) डिपार्टमेंट के असिस्टेंट कमिश्नर सुरंजन सेन और पोर्ट डिपार्टमेंट में कार्यरत असिस्टेंट कमिश्नर गौरव दत्ता के बीच निजी दुश्मनी और इससे डिपार्टमेंट के बाकी लोगों की कार्यशैली प्रभावित होने के साथ ही आए दिन होने वाली हत्याओं के कनेक्शन का बड़ा कनफ्यूजिंग मिश्रण है लाल बाजार. लाल बाजार में अब्बास गाजी, माया घोषाल, शाबिर अहमद, मीरा दासगुप्ता, फरजानाा समेत कई कैरेक्टर फोकस में हैं, जिनके इर्द-गिर्द कहानी घूमती है.
लालबाजार के साथ कितना न्याय कर पाए हैं स्टारकास्ट
अजय देवगन ने जब लाल बाजार का टीजर रिलीज किया था तो दर्शकों में काफी उत्सुकता थी कि इस पुलिस क्राइम ड्रामा में कुछ नया दिखने वाला है. इस वेब सीरीज में सब्यसाची चक्रवर्ती जैसे कलाकारों के होने से वाकई लाल बाजार को लेकर काफी उम्मीदें थीं. लेकिन जिस तरह से बीते 2 साल के दौरान सेक्रेड गेम्स, मिर्जापुर, रंगबाज, पाताल लोक जैसी वेब सीरीज आई हैं, ऐसे में लाल बाजार दर्शकों की उम्मीदें पूरी करती नहीं दिखती हैं. लाल बाजार के लीड किरदार सुरंजन सेन के रूप में कौशिक सेन कड़क पुलिस कमिश्वर वाली छाप छोड़ने में नाकाम रहे हैं. कोलकाता पुलिस इतनी भी सुस्त नहीं दिखती है. चूंकि यह पुलिस ड्रामा है, ऐसे में बाकी पुलिसकर्मी भी वैसे असरदार नहीं दिखते. सुब्रत दत्ता और दिब्येंदु भट्टाचार्य जैसे टैलेंटेड आर्टिस्ट का सही इस्तेमाल डायरेक्टर सयंतन घोषाल नहीं कर पाए. वेब सीरीज लाल बाजार में ग्लैमर के नाम पर सिर्फ ऋषिता भट्ट हैं, लेकिन वह भी दर्शकों पर असर नहीं छोड़ पाई हैं. फरजाना के रूप में रोंजिनी चक्रवर्ती का किरदार दर्शकों को पसंद आ सकता है.
डायरेक्शन, सिनेमैटोग्राफी और बैकग्राउंड स्कोर असरदार नहीं
बंगाली फिल्म इंडस्ट्री में सयंतन घोषाल भले चर्चित नाम हों और वह सस्पेंस और थ्रिलर फिल्में बनाते हों, लेकिन लालबाजार में सयंतन कहीं भी प्रभावी नहीं दिखे हैं. अच्छे-अच्छे कलाकारों को लेकर भले लालबाजार बनाई गई हो, लेकिन कमजोर स्क्रीनप्ले की वजह से सारे कलाकार अपने किरदार के साथ न्याय नहीं कर पाए हैं. एक्शन-क्राइम ड्रामा लालबाजार में बैकग्राउंड स्कोर इतना कमजोर है कि किसी भी सीन में न तो सस्पेंस क्रिएट हो पाता और न ही दर्शक रोमांचित हो पाते. वहीं सिनेमैटोग्राफी की बात करें तो काश लाल बाजार में कोलकाता का लैंडस्केप दिखाया जाता. भले कहाली लाल बाजार के इर्द-गिर्द सिमटी हो, लेकिन अगर आप किसी शहर को रिप्रेजेंट करते हैं तो समय-समय पर उसकी खास चीजों को दिखाना जरूरी होता है. ऐसे में दर्शकों को लाल बाजार देखते वक्त मजा नहीं आ पाता.
लालबाजार देखें कि नहीं?
जी5 पर रिलीज वेब सीरीज लालबाजार में 10 एपिसोड हैं. हर एपिसोड लगभग 40 मिनट का है. अगर आपको वीकेंड में कोई खास काम नहीं है और कोलकाता कुछ ज्यादा ही पसंद है तो आप लालबाजार देख सकते हैं. लेकिन वहीं आप अगर कुछ नई और रोमांचित करने वाली वेब सीरीज देखने की ख्वाहिश रखते हैं तो लाल बाजार देखकर आपको निराशा होगी. आपके पास यह वीकेंड काटने के लिए डिज्नी हॉटस्टार पर रिलीज वेब सीरीज आर्या एक बेहतर विकल्प के रूप में है.
आपकी राय