भारत का नंबर एक दुश्मन, लश्कर का चीफ और पाकिस्तान के ग्लोबल आतंकवादी हाफिज सईद को पूरे विश्व के लोग जानते हैं. इसकी ज़बान से केवल और केवल भारत के खिलाफ जहर ही निकलता है. इसने न जाने कितनी ही बार भारत के प्रधानमंत्री मोदी का नाम लेते हुए भारत को टुकड़े-टुकड़े करने का अपना वचन दोहराया है. पाकिस्तान में फिलहाल इमरान खान की सरकार है, लेकिन हाल में ही एक रिपोर्ट आयी है जिसमें ये आशंका दोहराई गयी है कि दो साल के अंदर यानी 2020 तक पाकिस्तान में जिहादी शक्तियां और मजबूत होंगी और वहां पर सत्ता परिवर्तन की स्थिति बन सकती है.
पाकिस्तान में जिहादी सरगनाओं में सबसे मजबूत फ़िलहाल हाफिज सईद ही है और ये अनुमान लगाया जा रहा है कि हाफिज सईद पाकिस्तान में इमरान खान को सत्ता बेदखल करके वहां के प्रधानमंत्री पद की कुर्सी पर कब्ज़ा कर सकता है. पाकिस्तान में संचालित जमात-उद-दावा को संयुक्त राष्ट्र ने आतंकवादी संगठन घोषित किया है. 2008 में हुए मुंबई हमलों में नाम सामने आने के बाद अप्रैल 2012 को अमेरिका ने हाफिज़ सईद पर 10 मिलियन डॉलर का ईनाम भी घोषित किया है.
पाकिस्तान में जिहादी और आतंकी ताकतों का दखल लगातार बढ़ता जा रहा है. सेना, पाकिस्तानी खुफ़िया एजेंसी, ISI और आतंकी संगठन के मंसूबे एक हैं- सिर्फ ये कि किस तरह भारत में दंगा फसाद फैलाया जाए, भारत को किस तरह तबाह किया जाए. सभी को पता है कि किस तरह लश्कर, जैश, हिज़बुल और अन्य आतंकी संगठन कश्मीर में लगातार आतंकवाद का परचम लहरा रहे हैं. भारत में संसद हमला, मुंबई ब्लास्ट से लेकर कई बम धमाकों में लश्कर की भागीदारी जग-जाहिर है.
एक ताजा रिपोर्ट में ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और थिंक टैंक स्ट्रैटेजिक फोरसाइट...
भारत का नंबर एक दुश्मन, लश्कर का चीफ और पाकिस्तान के ग्लोबल आतंकवादी हाफिज सईद को पूरे विश्व के लोग जानते हैं. इसकी ज़बान से केवल और केवल भारत के खिलाफ जहर ही निकलता है. इसने न जाने कितनी ही बार भारत के प्रधानमंत्री मोदी का नाम लेते हुए भारत को टुकड़े-टुकड़े करने का अपना वचन दोहराया है. पाकिस्तान में फिलहाल इमरान खान की सरकार है, लेकिन हाल में ही एक रिपोर्ट आयी है जिसमें ये आशंका दोहराई गयी है कि दो साल के अंदर यानी 2020 तक पाकिस्तान में जिहादी शक्तियां और मजबूत होंगी और वहां पर सत्ता परिवर्तन की स्थिति बन सकती है.
पाकिस्तान में जिहादी सरगनाओं में सबसे मजबूत फ़िलहाल हाफिज सईद ही है और ये अनुमान लगाया जा रहा है कि हाफिज सईद पाकिस्तान में इमरान खान को सत्ता बेदखल करके वहां के प्रधानमंत्री पद की कुर्सी पर कब्ज़ा कर सकता है. पाकिस्तान में संचालित जमात-उद-दावा को संयुक्त राष्ट्र ने आतंकवादी संगठन घोषित किया है. 2008 में हुए मुंबई हमलों में नाम सामने आने के बाद अप्रैल 2012 को अमेरिका ने हाफिज़ सईद पर 10 मिलियन डॉलर का ईनाम भी घोषित किया है.
पाकिस्तान में जिहादी और आतंकी ताकतों का दखल लगातार बढ़ता जा रहा है. सेना, पाकिस्तानी खुफ़िया एजेंसी, ISI और आतंकी संगठन के मंसूबे एक हैं- सिर्फ ये कि किस तरह भारत में दंगा फसाद फैलाया जाए, भारत को किस तरह तबाह किया जाए. सभी को पता है कि किस तरह लश्कर, जैश, हिज़बुल और अन्य आतंकी संगठन कश्मीर में लगातार आतंकवाद का परचम लहरा रहे हैं. भारत में संसद हमला, मुंबई ब्लास्ट से लेकर कई बम धमाकों में लश्कर की भागीदारी जग-जाहिर है.
एक ताजा रिपोर्ट में ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और थिंक टैंक स्ट्रैटेजिक फोरसाइट ग्रुप ने बताया है कि पाकिस्तान में जिहादी और पावरफुल हुए और इसका परिणाम आने वालों समय में दिख सकता है जब हाफिज सईद भविष्य में चुनाव जीतकर पाकिस्तान का प्रधानमंत्री भी बन सकता है. जानकारों और समीक्षकों की मानें तो इस संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है कि आने वाले समय में हाफिज सईद जिहादी ताकतों और सेना की मदद से पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान का तख्ता पलट कर भी सत्ता को हथिया सकता है. कुछ समीक्षक तो ये भी कहने से नहीं चूक रहे हैं कि उनकी सिचुएशन नार्थ कोरिया के तानाशाह की तरह हो जाएगी जो सनक में कुछ भी कर सकता है. यहां तक भारत से वो न्यूक्लियर वॉर भी मोल ले सकता है. और अगर दोनों देशों के बीच लड़ाई होती है तो तबाही का अनुमान लगाना मुश्किल होगा.
हाल ही में मुंबई ब्लास्ट के मास्टरमाइंड हाफिज सईद के संगठन जमात उद दावा और फलह-ए-इंसानियत फाउंडेशन पर लगी पाबंदी हटाने से नाराज अमेरिका ने पाक को लताड़ा था. हाफिज सईद ने न जाने कितनी बार भारत को धमकाने का काम किया है लेकिन अपने मंसूबों पर कभी कामयाब नहीं हो पाया हैं. लेकिन पाकिस्तान में जिस तरह के हालात नजर आ रहे हैं उससे ये दिन दूर नहीं कि वहां आतंक की सत्ता कायम हो जाए.
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