पत्रकार तवलीन सिंह ने जब शहीद की मां को समझ लिया बीजेपी ट्रोल!
अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर जो बातें पत्रकार तवलीन सिंह (Tavleen Singh )ने ट्विटर (Twitter ) पर एक शहीद की मां से कहीं हैं वो खुद ब खुद इस बात की तस्दीख कर देती हैं कि भारत में बुद्धिजीवियों की समस्या क्या है? तवलीन ने बता दिया है कि जब बात खुद को सही साबित करने की आएगी तो वो किसी भी सीमा तक जा सकती हैं.
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'अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता' 3 शब्दों का ये वाक्य दिखने में बहुत साधारण है और इसका उच्चारण जितना सहज है इसका इस्तेमाल उससे भी ज्यादा आसान है. आज जैसा माहौल है 'अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता' के नाम पर व्यक्ति कुछ भी अनाप शनाप बोल सकता है. कुछ भी कह सकता है. पत्रकार और ट्विटर सेलेब्स में शामिल तवलीन सिंह (Tavleen Singh) का मामला भी कुछ कुछ ऐसा ही है. भारत सरकार द्वारा 59 चीनी ऐप्स को प्रतिबंधित (GOI Banning Chinese Apps) करना शायद तवलीन सिंह को नागवार गुजरा है और इसे लेकर उन्होंने अपनी कुत्सित दिमाग का परिचय देते हुए न सिर्फ चीनी सीमा पर शहीद हुए जवान की मां का तिरस्कार किया बल्कि उसे भाजपा का ट्रोल (BJP TRoll ) तक बना दिया. बात दें कि तवलीन सिंह उन्हीं आतिश तासीर (Aatish Taseer) की मां हैं जिनका शुमार पीएम मोदी (PM Modi) और भाजपा के प्रबल आलोचकों में है और साथ ही पिछले साल नवंबर में जिनकी OCI (ओवर सीज सिटिजनशिप ऑफ इंडिया) "स्टेटस को रद्द किया गया है.
ट्विटर पर शहीद की मां को बीजेपी ट्रोल बता कर तवलीन सिंह ने बुद्धिजीवियों की समस्या बता दी है
बता दें कि चीनी ऐप्स पर भारत सरकार द्वारा लागू किये प्रतिबंध के बाद तवलीन सिंह ने सरकार की चुटकी लेते हुए ट्विटर पर लिखा कि , क्या इन ऐप्स पर प्रतिबंध लगाने से चीनी सैनिक हमारे क्षेत्र से पीछे हट जाएंगे?
Now that Chinese apps have been banned will it scare Chinese soldiers into retreating from our territory?
— Tavleen Singh (@tavleen_singh) June 30, 2020
तवलीन सिंह ने एक बहुत ही ज्यादा बेतुकी बात की थी जो सीमा पर शाहीद हुए एक सैनिक की मां मेघना गिरीश को बुरी लगी और शायद जिसने उन्हें खूब हर्ट भी किया. तवलीन को जवाब देते हुए मेघना ने लिखा कि चीनी सैनिकों को पीछे खदेड़ने और सीमा की रक्षा के लिए 20 जवानों ने अपनी जान की कुर्बानी दी दी. ऐसे में इस तरह की टिप्पणी उन सैनिकों का अपमान है.
Ridiculously uncaring and downright disrespectful comments after Col Babu &19 braves gave their lives fighting to push back the Chinese soldiers. Did not expect this from you @tavleen_singh. You have lost all respect today. https://t.co/Qqv9C30W9i
— Meghna Girish (@megirish2001) June 30, 2020
मेघना गिरीश का एक जायज बात कहना और तवलीन सिंह को समझना भर था उनके सुर बदल गए और उन्होंने अपना आपा खो दिया. तवलीन सिंह ने मेघना गिरीश की देशभक्ति को न सिर्फ सवालों के घेरे में डाला बल्कि ये तक कह दिया कि वो उनसे ज्यादा देशभक्त हैं. ऐसा इसलिए क्यों कि वो एक सैनिक की बेटी हैं और आर्मी स्टेशन में पली बढ़ी हैं. वह देश के लिए अपनी जान कुर्बान करने वालों के बारे में बखूबी जानती हैं.
तवलीन ने कहा कि 'मुझे अपने ट्विटर हैंडल पर अपनी देशभक्ति का जज्बा साबित करने की कोई जरूरत नहीं है जैसे 'बीजेपी टोल' करते हैं.
Only someone of the urban ‘balcony class’ sheds crocodile tears for our soldiers. I grew up in army stations and know people who fought and died for this country. I don’t need to wear my patriotism in my Twitter handle like BJP trolls do. https://t.co/fIY33ZJkXi
— Tavleen Singh (@tavleen_singh) July 1, 2020
ट्विटर पर जो भी बातचीत तवलीन और मेघना के बीच हुई है यदि उसका अवलोकन किया जाए तो पता चलता है कि वो हर संभव यही कोशिश कर रही थीं कि कैसे भी करके अपनी बात मनवाई जा सके. गौरतलब है कि जिस मेघना गिरीश को तवलीन सिंह ने सत्ताधारी दल भाजपा का ट्रोल घोषित किया है वो और कोई नहीं बल्कि मेजर अक्षय गिरीश कुमार की मां हैं जो 29 नवंबर 2016 को नगरोटा एयरबेस पर हुए आतंकी हमले में शहीद हो गए थे. तवलीन को उनकी भूल का एहसास कराया स्मिता बरुआ ने.
You've crossed a big line here Tavleen.This lady,whom you dismiss as "upper balcony class",sacrificed her son for this nation.He was Major Akshay Girish (martyred in Nagrota Terror Attack 2016)Her son wasn't a foreign citizen lecturing us from NY. He lived & died for this land https://t.co/U588Fs55fL
— Smita Barooah (@smitabarooah) July 1, 2020
सवाल तवलीन सिंह द्वारा चीनी ऐप्स को लेकर सरकार की आलोचना का नहीं है. समस्या तवलीन सिंह के एटीट्यूड में है. मेघना गिरीश स्वयं एक शहीद की मां हैं जो किसी परिचय की मोहताज नहीं हैं. ऐसे में तवलीन का उनको न पहचानना और उनको भाजपा का ट्रोल बता देना न सिर्फ उनकी नीयत पर सवाल खड़े करता है बल्कि बुद्धिजीवियों की उस समस्या से अवगत कराता है जिसमें वो अपने आगे किसी की सुनते नहीं और प्रयास यही करते हैं कि कैसे भी करके उनकी ही बात सही साबित हो. खैर, तवलीन सिंह ने अपने आक्रामक ट्वीट को रिपेयर करते हुए एक ट्वीट और दागा, लेकिन वह भी गलत दिशा में चला गया.
Sorry that you got offended as the mother of a war hero. But, it was wrong to question my respect for the army like BJP trolls do daily. It is wise to be less judgemental about people you do not know. https://t.co/TqoQNniazp
— Tavleen Singh (@tavleen_singh) July 1, 2020
तवलीन सिंह ने जिस अंदाज में माफी मांगी, उसमें भी अहंकार का स्वर था. वे मेघना गिरीश को यह अहसास दिलाना चाहती थीं कि गलती मेघना ने ही की है, उनसे तो सिर्फ भूूूल हुई है. इस कहासुनी का पटाक्षेप आखिर में मेघना गिरीश ने ही किया.
Even for this insincere apology, thank you. Hope you apply the advice in your last sentence to self.As per my identity, it remains Indian. I have exercised my citizen rights to vote for Congress, AAP, JDS & BJP at Centre and State with faith in good leadership. I have no party. https://t.co/FiHzW2FbVY
— Meghna Girish (@megirish2001) July 1, 2020
कहने सुनने को तो इस पूरे विषय पर तमाम बातें हैं मगर हम बस ये कहकर अपनी बात को विराम देंगे कि तवलीन खुद एक सैनिक के घर पैदा हुईं थीं ऐसे में उन्हें कम से कम एक सैनिक की शहादत की लाज तो रखनी ही चाहिए थी कम से कम एक सैनिक और उसकी शहादत का मान तो बना ही रहता. इस अनावश्यक बहस के आखिर में तो ऐसा किया ही जा सकता था.
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