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Updated: 22 नवम्बर, 2022 09:32 PM
देवेश त्रिपाठी
देवेश त्रिपाठी
  @devesh.r.tripathi
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अगर किसी शख्स को कोई तोहफा मिले. तो, वो उसे जिंदगी भर एक यादगार के तौर पर सहेज कर रखता है. उन्हें बेचने के बारे में तो शायद ही कोई सोचेगा. लेकिन, बात अगर पाकिस्तान की हो. तो, जो देश अपने गधों को बेचकर भी पैसा जुटाने की कोशिश करता हो. वहां के नेताओं की तो बात ही निराली होगा. वैसे, हम यहां बात करने जा रहे हैं पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की. दरअसल, सरकारी खजाने में जमा तोहफों को कौड़ी के दाम खरीद कर ऊंचे दामों में बेचने वाले इमरान खान इस समय बुरी तरह से बौखलाए हुए हैं. क्योंकि, पाकिस्तान की एक अदालत ने इमरान खाने के खिलाफ तोशाखाना मामले में आपराधिक कार्यवाही शुरू कर दी है. जिसके बाद इमरान खान के खिलाफ तोशाखाना मामले को लेकर पाकिस्तानी उनके जमकर मजे ले रहे हैं. और, दिलचस्प बात ये है कि इमरान खान को ट्रोल करने के लिए पाकिस्तानी सोशल मीडिया यूजर उन्हें भारत के पीएम नरेंद्र मोदी से सीख लेने की सलाह दे रहे हैं.

Pakistan former PM Imran Khan trolled with PM Narendra Modi video over Toshakhana Expose trade gifts in open marketतोशाखाना के तोहफों को बेचने के मामले में इमरान खान की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर फजीहत हो चुकी है.

पाकिस्तानियों को क्यों याद आए पीएम मोदी?

दरअसल, हाल ही में एक पाकिस्तानी न्यूज चैनल जियो टीवी ने एक कार्यक्रम में तोशाखाना के तोहफों को खरीदने वाले शख्स का इंटरव्यू किया था. जिसके बाद इमरान खान का पारा सातवें आसमान पर पहुंच गया था. इमरान खान का कहना था कि 'ये सारी चीजें उन्हें फंसाने के लिए की जा रही हैं. और, उन्हें पाकिस्तान की न्याय व्यवस्था में भरोसा नहीं है. क्योंकि, सब कुछ पाकिस्तानी सेना और सरकार के इशारे पर किया जा रहा है.'

हालांकि, यहां असल मामला यही है कि इमरान खान ने इन तोहफों को बेच दिया है. जो अब उनके पास नहीं हैं. तो, सिवाय दूसरों पर इल्जाम लगाने और लकीर पीटने के इमरान खान कुछ कर भी नहीं सकते हैं. यही कारण है कि पाकिस्तानी अब इमरान खान को ट्रोल करने के लिए भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का वो इंटरव्यू शेयर कर रहे हैं. जिसमें पीएम नरेंद्र मोदी ने बताया था कि कैसे उन्होंने खुद को मिलने तोहफों को तोशाखाना यानी सरकारी खजाने में जमाकर उनकी नीलामी के सहारे बच्चियों की शिक्षा के सरकारी फंड में 100 करोड़ से भी ज्यादा रुपये जमा कर दिए थे. 

पाकिस्तान के पत्रकार हामिद मीर ने भी एक खबर शेयर करते हुए लिखा है कि हमारे नरेंद्र मोदी के साथ कई मामलों पर मतभेद हो सकते हैं. लेकिन, हमें इस बात को स्वीकार करना चाहिए कि दक्षिण कोरिया में सियोल शांति पुरस्कार मिलने के बाद उन्होंने पुरस्कार के तौर पर मिलने वाली 1.30 करोड़ की धनराशि को नमामि गंगे प्रोजेक्ट में दे दिया था. यह एक प्रभावशाली फैसला था. 

हामिद मीर ने अपने एक अन्य ट्वीट में लिखा कि भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2019 से करीब 6000 से ज्यादा तोहफों की नीलामी करवाई है. और, इससे मिली रकम को मानवीय कारणों के लिए दान कर दिया. उन्होंने कभी कोई तोहफा कम दामों पर नहीं खरीदा. और, इन तोहफों को कभी खुले बाजार में नहीं बेचा. 

तोहफे बेचने की पुरानी आदत से लाचार हैं इमरान खान

पाकिस्तान अनटोल्ड नाम के सोशल मीडिया यूजर ने एक वीडियो शेयर किया है. जिसमें पत्रकार हामिद मीर के ही एक कार्यक्रम की क्लिप है. इस वीडियो में हामिद मीर बताते हैं कि '1987 में जब इमरान खान को पाकिस्तानी क्रिकेट टीम के कप्तान के तौर पर भारत गए थे. उन्हें बीसीसीआई ने एक गोल्ड मेडल दिया था. इमरान खान को दिया गया वो मेडल बाद में खुलेआम बाजार में बिक रहा था. जिसे एक शख्स ने खरीद लिया था. और, बाद में पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड यानी पीसीबी को दे दिया था. जिसे पीसीबी ने लाहौर के अपने म्यूजियम में लगाया था.' इस वीडियो में हामिद मीर के साथ बैठा दूसरा शख्स कहता है कि 'आपको कोई तोहफा मिलता है. तो, ये आपकी इज्जत होती है. लेकिन, इमरान खान इज्जत भी बेच देता है.' 

आसान शब्दों में कहा जाए, तो तोहफों को बेचने के मामले में इमरान खान का ट्रैक रिकॉर्ड पहले से ही खराब रहा है. और, पाकिस्तान का प्रधानमंत्री बनने के बाद तो इमरान खान को जैसे छूट ही मिल गई थी. उन्होंने जमकर तोशाखाने से सरकारी तोहफे खरीदे. और, इसके लिए बाकायदा सरकारी आदेश जारी करवाया. इतना ही नहीं, इस रकम पर लगने वाले टैक्स को भी माफ करवा लिया.

तोशाखाना से कौन से तोहफे उड़ा ले गए इमरान खान?

इमरान खान पर तोशाखाने से कई तोहफों को सस्ते दामों में खरीदने के आरोप लगे हैं. लेकिन, जिस तोहफे को लेकर इमरान खान की सबसे ज्यादा किरकिरी होती है. वो हैं सऊदी अरब के प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान द्वारा दिए गए तोहफे. दरअसल, इन तोहफों में Graff की बेशकीमती घड़ी, एक कफलिंक का जोड़ा, एक पेन और एक अंगूठी थे. इस घड़ी को लेकर कहा जाता है कि प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने लिमिटेड एडिशन की सिर्फ दो घड़ियां बनवाई थीं. जिनमें से एक उन्होंने खुद के लिए रख ली थी. और, दूसरी इमरान खान को तोहफे के तौर पर दी थी. लेकिन, इमरान खान ने अपनी पत्नी पिंकी पीरनी उर्फ बुशरा बीबी की सहेली फराह खान के जरिये दुबई के एक बिजनेसमैन उमर फारूक जहूर को ये तोहफे करीब 20 लाख डॉलर में बेच दिए थे.

लेखक

देवेश त्रिपाठी देवेश त्रिपाठी @devesh.r.tripathi

लेखक इंडिया टुडे डिजिटल में पत्रकार हैं. राजनीतिक और समसामयिक मुद्दों पर लिखने का शौक है.

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