Sonu Sood का बरकत अली को जवाब ही ईद का तोहफा है
एक ऐसे समय में जब प्रवासी मजदूर (Migrant Workers) कोरोना वायरस (Cooronavirus) की मार झेल रहे हों चंद ही लोग उनकी मदद के लिए सामने आ रहे हैं. ऐसे में एक्टर सोनू सूद (Sonu Sood) को देखना राहत देने वाला है वो बिना भेद भाव के सबकी मदद कर रहे हैं.
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जब मन डूब रहा हो मज़दूरों (Migrant Workers) को नंगे पांव चल कर अपने गांव अपने शहर की तरफ़ जाते हुए. इंटरनेट पर न्यूज़ फ़ीड सिर्फ़ कोरोना(Coronavirus) से हो रही मौतों की ख़बर भरी हो. हर गुजरते दिन के साथ ये महामारी दुनिया के लाखों लोगों को अपनी गिरफ़्त में ले रही हो. दुनिया की तमाम सड़के अनमनी सी और उदास दिख रही हों तो लगता है कि गुज़र रहा ये बोझिल दिन कभी ख़त्म ही नहीं होगा. ये खामोशियों के मंजर हमारे शहर में आ कर ठहर से गए हैं.
कोरोना के इस दौर में सोनू सूद अपनी तरफ से प्रवासी मजदूरों को मदद देने की हरसंभव कोशिश कर रहे हैं
ऐसे ही बेरंग मौसम में आप मन बहलाने के ट्वीटर पर जाते हैं. वहां स्क्रोल करते हुए नज़र एक ट्वीट पर जा कर ठहर जाती है. ट्वीट कुछ यूं होता है.'परसों मां की गोद में सोएगा तू मेरे भाई. सामान बांध!'
पढ़ने के लिए ये सिर्फ़ लाइन है लेकिन इस एक लाइन में ज़िंदगी की सारी उम्मीद छिपी है. ये ट्वीट रिप्लाई में सोनू सूद ने लिखा होता है उस मज़दूर को इस ईद में अपने घर दरभंगा बिहार से हज़ारों मील दूर मुंबई शहर के किसी कोने में फंसा हुआ है. उसे उम्मीद की कोई किरण नज़र नहीं आ रही होती. उसे शहर की इस क़ैद से अपने घर जाने का रास्ता नहीं दिख रहा होता. फिर उसे कहीं से पता चलता है कि सोनू सूद प्रवासी मज़दूरों को उनके शहर, उनके गांव भिजवा रहें.
परसों माँ की गोद mein सोएगा मेरे भई। सामान बांध। ❣️ https://t.co/tKD68JLUK2
— sonu sood (@SonuSood) May 23, 2020
बरकत अली डूबते मन को सोनू सूद में एक फ़रिश्ता नज़र आता है. वो सोनू को ट्वीट करके बताता है. 'सर हम पांच लोग मुंबई सेंट्रल के पास से हैं. हमें दरभंगा भेज दो न.'
इस ट्वीट में उम्मीद की की लौ है. प्रार्थना का क़ातर स्वर है. इस ट्वीट को लिखते हुए उसके मन में न जाने कितने ख़्याल आए होंगे. उसे लग रहा होगा कि शायद सोनू ये ट्वीट पढ़ें ही न, शायद पढ़ भी लें तो हज़ारों ट्वीट में उसके ट्वीट का रिप्लाई ही नहीं करें.
लेकिन सोनू न सिर्फ़ उसके ट्वीट को पढ़ते हैं बल्कि उसे जवाब में इस ईद की ईदी दे देते हैं. ईद पर आपको आपकी अम्मी की गोद नसीब हो जाए इससे बड़ी ख़ुशक़िस्मती क्या होगी भला.
सुनवाई हो गयी मेरे दोस्त। थोड़ा सब्र.. फिर गाँव के खेत खलियान। डिटेल्ज़ भेजो। ❣️ https://t.co/9qRqZ2ynEi
— sonu sood (@SonuSood) May 23, 2020
मन का अजीब हिसाब होता है. ये दूसरे की ख़ुशी में अपनी ख़ुशी ढूंढ ही लेता है. मैं और भी सोनू सूद के ट्वीट्स स्क्रॉल करती हूं. किसी ने लिखा होता है, 'सर हमको बिहार भिजवा दो. वहां से पैदल अपने गांव चले जाएंगे!'
सोनू इस पर रिप्लाई करते हैं, 'भाई तू पैदल क्यों जाएगा. तुम अपना पता भेजो.' किसी ने ट्वीट किया होता है, 'सर हम लोग उत्तर प्रदेश हैं. क्या हमारे लिए कुछ हो सकता है?'
भाई कुछ क्या सब कुछ हो सकता है, लेकिन उसके लिए आपको अपना डिटेल भेजने का कष्ट करना पड़ेगा.'
भाई कुछ क्या.. सब कुछ हो सकता है। उसके लिए उपका डिटेल्ज़ भेजने का कष्ट करना पड़ेगा ❣️ https://t.co/AlB7L8byDP
— sonu sood (@SonuSood) May 23, 2020
सोनू के इतने प्यारे-प्यारे रिप्लाई कि पढ़ कर लगा कि दुनिया अब भी जीने लायक बची है. दुनिया में इंसान के अलावा फ़रिश्ते भी हैं. जो सिर्फ़ अपने लिए नहीं बल्कि उनके लिए जीते हैं जिनके लिए कोई नहीं सोचता।
ज़रा सोचिए इस महामारी में मज़दूरों के फ़ोटो को लगभग हर सितारे और बड़े-बड़े क़द्दावर नेताओं ने ट्वीट और शेयर किया लेकिन ये ख़्याल उनलोगों के मन में क्यों नहीं आया. अगर देश का हर सामर्थवान व्यक्ति ने अपनी-अपनी ज़िम्मेवारी निभाई होती तो आज सैकड़ों जिंदगियां बच गयी होती जो सड़क हादसे, रेल-पटरी दुर्घटना और धूप की चपेट में आ कर घर पहुंचने से पहले ही दम तोड़ दिए.
और एक चीज़ जो नोटिस करने वाली है वो ये कि सोनू सूद बिना किसी प्रमोशन के ये कर रहें हैं. उन्होंने दूसरे बड़े सितारों की तरह अपनी पीआर टीम को नहीं लगाया है तारीफ़ बटोरने के लिए. यही चीज़ अगर इंडस्ट्री के ख़ान श्रेणी वाले सितारे कर रहें होते तो देश बुद्धिजीवी वर्ग एकदम उनकी तारीफ़ों में क़सीदे रच रहा होता लेकिन ये सोनू कर रहें, जो उतने बड़े स्टार नहीं है तो ब्रेकिंग न्यूज़ नहीं बन रही. ख़ैर.
काश हम सब थोड़े ही सही सोनू सूद जैसे बन पाते. आज सोनू जो कर रहें हैं इन मज़दूरों के लिए वो उनका दर्जा अचानक से इंसानों से बढ़ा कर ख़ुदा वाला कर दिया है मेरी नज़रों में. ईश्वर आपको तमाम ख़ुशियां और शांति दे. आप जो कर रहें उसे देश और देशवासी कभी नहीं भुल पाएंगे. आप हीरो हैं, सूपर हीरो जो मुसीबत में फंसे लोगों को सुरक्षित निकाल कर उन्हें उनके अपनों के पास भिजवा रहा.
एक छोटा सा शुकराना हमारी तरफ़ से.
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