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Updated: 22 फरवरी, 2018 06:56 PM
बिलाल एम जाफ़री
बिलाल एम जाफ़री
  @bilal.jafri.7
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बयान देने या फिर बयान देते रहने के अपने फायदे हैं. राजनीति में, जहां एक तरफ बयान वर्चस्व को बरक़रार रखता है, वहीं दूसरी तरफ आलोचना के माध्यम से बयान देने वाले व्यक्ति को कुछ समय के लिए ही सही मगर ठीक ठाक लोकप्रियता भी मिल जाती है. अब इस बात को भाजपा सरकार में मंत्री मनोज सिन्हा के सन्दर्भ में रखकर देखिये. इससे पहले सिन्हा तब लोकप्रिय हुए थे जब उत्तर प्रदेश में चुनाव हुए थे. तब सिन्हा का नाम प्रदेश के मुख्यमंत्री के लिए सामने आया था.

अयोध्या, राम मंदिर, मनोज सिन्हा   राम मंदिर और अयोध्या को लेकर रेलवे राज्य मंत्री मनोज सिन्हा की तरफ से बड़ा बयान दिया गया है

बात आगे बढ़ाने से पहले आपको बताते चलें कि अयोध्या जंक्शन रेलवे स्टेशन के पुननिर्माण और अन्य 210 करोड़ की विभिन्न योजनाओं का शिलन्यास करने अयोध्या पहुंचे रेल राज्यमंत्री मनोज सिन्हा शहर की हालात देखकर इतने भावुक हो गए कि उन्होंने कह दिया कि अयोध्या में रेलव स्टेशन राम मंदिर जैसा ही बनाया जाएगा.

रेल राज्यमंत्री सिन्हा का मानना है कि अयोध्या को कुछ इस तरह से विकसित किया जाएगा कि दुनिया के किसी भी कोने से आया व्यक्ति इसे गर्व के साथ राम की जन्मभूमि कह सके. साथ ही उन्होंने अपनी सरकार की उपलब्धियां गिनाते हुए ये भी कहा कि वह अयोध्या का विकास कर शहर को इस श्रेणी में लाना चाहते हैं कि देश के हर कोने से ट्रेन अयोध्या पहुंच सके.

अयोध्या, राम मंदिर, मनोज सिन्हा   मनोज सिन्हा को समझना चाहिए कि वो जो बातें आज कह रहे हैं वो पूर्व में हो चुकी हैं

एक ऐसे वक़्त में जब राम मंदिर का मामला कोर्ट में है और शिया वक़्त बोर्ड, सुन्नी वक्फ बोर्ड, श्री श्री रविशंकर और वसीम रिज़वी के अलावा पूरा देश इस मुद्दे पर टकटकी बांधे सरकार की तरफ देख रहा है उस वक़्त में निश्चित तौर पर सिन्हा की तरफ से दिया गया ये एक बड़ा बयान है.

जब हमनें सिन्हा के द्वारा इस बड़े बयान का अवलोकन करने के लिए कुछ जानने वालों को फोन मिलाया और गूगल की मदद ली तो जो नतीजे निकल कर सामने आए वो ये बताने के लिए काफी थे कि सिन्हा साहब ने अयोध्या कभी देखा ही नहीं और जो राम मंदिर की बातें इन्होंने सुनी उनका सोर्स केवल न्यूज़ चनैल और यू ट्यूब था. देश के किसी भी नागरिक को इस बात को पढ़कर आहत, बहुत आहत होने और हमें बिकी हुई मीडिया, धर्म विशेष विरोधी मीडिया कहने की कोई ज़रूरत नहीं है. निंदा करने के लिए पूरी उम्र पड़ी है पहले हमें बात समझने की ज़रूरत है.

अयोध्या, राम मंदिर, मनोज सिन्हा   अयोध्या स्टेशन में लगी भगवान श्री राम की पेंटिंग

रेल राज्य मंत्री सिन्हा जिस अयोध्या रेलवे स्टेशन को राम मंदिर जैसा बनाना चाह रहे हैं अगर वो उसे ध्यान से देखें तो मिलेगा कि उनकी कल्पना से पहले ही वो राम मंदिर जैसा है. स्टेशन के शिखर पर भगवान श्री राम माता सीता की तस्वीर लगी हुई है जिसमें भगवान श्री राम के बगल में लक्ष्मण खड़े हैं और हनुमान बैठे हैं. हां हो सकता है कि कभी उसपर उनकी नजर न गयी हो. या ये भी हो सकता है कि उन्होंने उसे देखा तो हो मगर उसे अपनी यादों में संजो कर रख लिया हो ताकि वो इसपर खुल कर राजनीति कर सकें.

बहरहाल, अगर हाल फिल्हाल में अयोध्या स्टेशन को देखें तो मिल रहा है ये पहले से ही मंदिर जैसा है बस  सही रख रखाव न हो पाने के कारण कोई इसे समझ नहीं पा रहा. हम ये कहते हुए अपनी बात खत्म करेंगे कि यदि सरकार बस स्टेशन परिसर की साफ सफाई और रख रखाव पर ध्यान दे तो स्टेशन राम मंदिर जैसा ही लगेगा और साफ सुथरा होने के कारण देश विदेश के पर्यटकों को अपनी तरफ आकर्षित करेगा.

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लेखक

बिलाल एम जाफ़री बिलाल एम जाफ़री @bilal.jafri.7

लेखक इंडिया टुडे डिजिटल में पत्रकार हैं.

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