Bird Flu: ‘चिकन’ बिन कैसे जिया जाए, जुगाड़ियों ने इसका भी जुगाड़ कर लिया!
चिकन प्रेमियों ने बर्ड फ्लू (Bird Flu) का भी काट निकाल लिया है, हमारे देश में जुगाड़ की कमी थोड़ी है. एक से एक बढ़कर एक तरकीब अपना कर लोग चिकन का स्वाद ले रहे हैं.
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चिकन प्रेमियों ने बर्ड फ्लू (Bird Flu) का भी काट निकाल लिया है. अब हमारे देश में जुगाड़ की कमी थोड़ी है. बस से लेकर ट्रेन में तो आपने हमारे देश के जुगाड़ियों का हुनर देख ही लिया होगा. नहीं भी देखा होगा तो भी जुगाड़ के किस्से तो सुने ही होंगे. इंटरनेट के जमाने में जुगाड़ की वीडियो भी तो वायरल होती रहती है. मामला कोई भी हो हम भारतीय कोई ना कोई जुगाड़ कर ही लेते हैं.
खैर, इस बार बात हो रही है इस बर्ड फ्लू में चिकन कैसे खाया जाए, इस जुगाड़ की. दरअसल, बर्ड फ्लू की खबरें तो आ रही थीं, लेकिन लोगों ने इस बात पर इतना जोर नहीं दिया. वैसे भी कोरोना ने अलग ही बवाल मचा रखा है. इस बीच किसी दूसरी बीमारी के बारे में जानने या समझने की क्षमता बची नहीं है. मगर जब बात जान की आती है तो सुनना ही पड़ता है.
केंद्र सरकार ने अनुसार, 10 राज्यों में पोल्ट्री बर्ड्स में बर्ड फ्लू फैल गया है. वहीं 13 राज्यों में कौवे, प्रवासी और जंगली पक्षियों में भी इसकी पुष्टि हुई है. अब जिन किसानों के मुर्गियों या अंडे को नष्ट किया जा रहा है उन्हें तो मुवाअजा मिल जा रहा है.
साथ ही प्रभावित क्षेत्रों में रोकथाम के लिए अभियान भी चलाया जा रहा है, लेकिन उनका क्या जिनकी भूख का इलाज कुकड़कू है. यानी चिकन प्रेमियों का अब क्या होगा. जो पूरे हप्ते वीकऑफ का इंतजार इस उम्मीद में करते हैं कि संडे को तो चिकन बनेगा. दोस्तों को फोन मिलाया जाता है, बाक़ायदा डिस्कशन होता है कि ग्रेवी चिकन बनेगा या फ्राई.
चिकन प्रेमियों का दर्द कौन समझेगा
लेकिन घबराइए नहीं इस बीच जो कुछ हमने देखा और सुना है, वही साफ-साफ शब्दों में आपको बता रहे हैं. चिकन प्रेमी अपनी तसल्ली के लिए वो हर उपाय कर रहे हैं जिनसे उनका डर भी भाग जाए और वो चिकन का स्वाद भी ले सकें. हालांकि हम उन उपायों की पुष्टि नहीं कर रहे हैं. ना ही आपको ऐसा करने की सलाह दे रहे हैं.
1- कुछ लोग चिकन को गर्म पानी में नमक मिलाकर धोते हैं फिर उसमें नमक-हल्दी और नींबू मिलाकर फ्राई करते हैं. फिर शुरू होती है मसालों के साथ चिकन को तेज आंच पर पकाने की प्रक्रिया. यानी हर तरह की पूजा पाठ करके फिर इसे खाने लायक बनाया जाता है.
2- कुछ लोग चिकन की जगह पर मटन का ऑप्शन निकालते हैं, लेकिन यह काफी महंगा मिलता है इसलिए इसकी क्वाटिंटी घटा दी जाती है.
3- कुछ लोग मछली की तरफ रूख करना तो चाहते हैं लेकिन कांटों और बनाने की झंझट के चलते उसे दूर से ही टाटा कर देते हैं. इसलिए वे खरीदते हैं मशरूम जिसे एकदम चिकन माफिक बनाया जाता है.
4- कुछ लोगों को लगता है कि बर्ड फ्लू तो है लेकिन रेट तो कम हुआ नहीं. ऐसे लोग अंडे को ओवर ब्यॉल करके करी से काम चलाते हैं. चिकन न सही तो अंडा सही.
5- अब आते हैं वो महान लोग जो देखते हैं कि हमारे पड़ोसी, रिश्तेदार और बाकी परिजन क्या कर रहे हैं. घर से बाहर देखा कि सब ठीक तो चल है, बाहर धूप है, हवा है. मौसम बढ़िया है और पड़ोसी भी खा रहे हैं फिर काहे की समस्या. बनाओ एकदम मासालेदार चिकन.
6- कुछ लोगों का यह मानना है कि कोरोना में भी तो खाना बंद किया था. मां कमस दो महीने नॉनवेज देखा तक नहीं था, लेकिन फिर क्या खाने लगे. कुछ नहीं हुआ सब ठीक है.
7- ये वाले लोग सबसे मजेदार हैं. परिवार में 6 लोगों में एक ऐसा होता है जो चिकन की ग्रेवी खाता है पीस नहीं. बस क्या चिकन बना लो, वैसे भी हम कौन सा पीस खाते हैं.
8- कुछ महान से भी महान लोग हैं जो उपर-उपर का पीस खा लेंगे लेकिन हड्डी ना खुद खाएंगे ना दूसरों को खाने देंगे. इनके हिसाब से सारी बीमारी हड्डी में होती है.
9- नए शादी-सुदा जोड़े में चिकन खाने को लेकर दो दिन बात नहीं हुई. एक दिन दोनों मंडी तक तो गए लेकिन बर्ड फ्लू के डर की वजह से अंदर जाकर चिकन खरीदने की हिम्मत नहीं हुईं. पति का कहना था कि अभी नहीं खाना है. वहीं पत्नी जी चिकन के पकौड़े पर अड़ी हुई थीं. फिर इसका भी जुगाड़ निकाला गया, ऑनलाइन ऐप की मदद से आखिर चिकन आया तब जाकर पत्नी जी खुश हुईं और चेहरे पर स्माइल आई.
अरे हां, क्या जुगाड़ का साथ देने में सोयाबीन, चॉप और पनीर को भला भूलाया जा सकता है? लोगों के जुगाड़ देखकर कहीं बर्ड फ्लू भी न शर्मा जाए. क्योंकि हम भारतीय हर बात की काट खोज ही लेते हैं. हां उपर बताए गए जुगाड़ की हम पुष्टि नहीं करते हैं और ना ही ऐसा करने की सलाह देते हैं.
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