स्वाति को भद्दी गालियां देने वाले भी उसके पिता की तरह ही घिनौने अपराधी हैं!
स्वाति को सच क्यों नहीं बोलना चाहिए? क्यों उसे चुप रहना चाहिए? क्यों? उसे भी मालूम होगा कि भारतीय समाज किस तरह पेश आएगा फिर भी सच बोलना उसकी हिम्मत का परिचायक है. हां, इतना जानने के बाद भी आप मुंह छिपा रहे हैं. स्वाति को गालियां दे रहे हैं तो यह ज़रूर है कि आप इस तरह के घिनौने अपराध को बल दे रहे हैं.
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इस वक़्त जब दो महिलाओं की तारीफ़ कला के सबसे नामचीन पुरस्कारों में एक अकादमी लाने के लिए हो रही हैं, मैं तीसरी महिला को भी इन नामों में शामिल करना चाहती हूं. वह तीसरी स्त्री स्वाति मालीवाल है. बहुत साल पहले जब मैं कमला भसीन का इंटरव्यू कर रही थी, उन्होंने चार साल की उम्र से युवता तक अपने साथ हुए यौन शोषण का ज़िक्र किया था. साथ में यह भी कहा था कि इसे बताने की हिम्मत करने में मुझे चालीस साल से अधिक लग गये.
यौन शोषण और भारत! वह जगह जहां औरतें अपने साथ हुए अपराध का कारण ख़ुद मानी जाती हैं. जहां विक्टिम ब्लेमिंग लगभग हर किसी को आता है. उस जगह पर अपने यौन शोषण की बात करना सीधा वैतरणी में छलांग लगाने जैसा है.
स्वाति मालीवाल ने अपने पिता को लेकर जो बातें कही हैं वाक़ई उनमें हिम्मत चाहिए
तिस पर स्वाति मालीवाल ने पिता द्वारा शोषण की बात की. एक कथित पवित्र रिश्ते पर सवाल उठा दिया. स्वाति ऐसा कैसे कर सकती है? अपने पिता पर सवाल कैसे उठा सकती है?पिता तो जैसे पुरुष होता ही नहीं? जबकि हर दूसरे तीसरे दिन इस तरह की कोई न कोई ख़बर अख़बार में मिल जाती है.
'पिता के द्वारा बलात्कार'
'पिता ने बेटी को बेच दिया'
अभी गूगल में न्यूज़ सर्च कीजिए ‘फ़ादर रेप्ड डॉटर’ डालकर. सबसे ताज़ा ख़बर पंद्रह घंटे पहले की है. अमरावती में पिता ने छोटी बेटी और मां के हाथ-पांव बांधकर बड़ी बेटी से बलात्कार किया.क्या इस ख़बर से आप मुंह छिपा सकते हैं?
#WATCH | "I was sexually assaulted by my father when I was a child. He used to beat me up, I used to hide under the bed," DCW chief Swati Maliwal expresses her ordeal alleging her father sexually assaulted her during childhood pic.twitter.com/GsUqKDh2w8
— ANI (@ANI) March 11, 2023
नहीं न? क्या आपने आस-पास ऐसे क़िस्से नहीं सुने हैं? ग्लोबल डेटा कहता है दुनिया की हर तीसरी स्त्री के साथ उसके घर पर ही हिंसा होती है. इस हिंसा में बड़े स्तर पर यौन शोषण शामिल है.
फिर स्वाति को सच क्यों नहीं बोलना चाहिए? क्यों उसे चुप रहना चाहिए? क्यों?
उसे भी मालूम होगा कि भारतीय समाज किस तरह पेश आएगा फिर भी सच बोलना उसकी हिम्मत का परिचायक है. हां, इतना जानने के बाद भी आप मुंह छिपा रहे हैं. स्वाति को गालियां दे रहे हैं तो यह ज़रूर है कि आप इस तरह के घिनौने अपराध को बल दे रहे हैं.
आख़िरी बात : दुनिया का कोई भी रिश्ता पवित्र नहीं है. तमाम बात अच्छी नीयत की है. बेहतर मनुष्य के पास अपरिचित के लिए भी संवेदना होगी, पर्वर्ट अपने घर की बच्चियों के लिए भी हैवान होगा.
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