Facebook के पास हमारा कितना डेटा है क्या ये जानते हैं आप?
फेसबुक का एक फीचर है जिससे यूजर अपना पूरा डेटा डाउनलोड कर सकता है. ये वो डेटा है जो फेसबुक के सर्वर में सेव है और इसे आप डिलीट भी नहीं कर सकते हैं. जो फाइल्स सामने आती हैं वो चौंकाने वाले नतीजे दिखाती हैं..
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इन दिनों साइबर चोरी ट्रेंड पर है. जी मैं यहां किसी बैंक अकाउंट और पैसे की चोरी की बात नहीं कर रही हूं बल्कि यहां बात हो रही है डेटा चोरी की. फेसबुक, आधार, नमो एप यहां तक की जियो को लेकर भी यही बातें चल रही हैं कि ये सभी यूजर का डेटा चुराकर अपने फायदे के लिए बेचते हैं.
आखिर डेटा ही तो है...
जिन लोगों को सिर्फ ये लगता है उन्हें खुद से एक सवाल पूछना चाहिए? आखिर फेसबुक और गूगल फ्री सर्विस देकर भी इतना कैसे कमा लेते हैं? सीधा सा जवाब है एडवर्टाइजिंग से और डेटा बेचकर.
ये डेटा बहुत पर्सनलाइज हो सकता है, हमें लगता है कि हमारी जिंदगी फेसबुक और गूगल ने आसान बनाई है और काफी हद तक की भी है, लेकिन हमारी जिंदगी का कितना कंट्रोल इन कंपनियों के पास है जरा ये भी सोचिए.
कितना डेटा...
फेसबुक के पास हमारा पूरा रिकॉर्ड है. बहुत ही आसानी से ये डेटा निकाला जा सकता है जो फेसबुक ने अपने किसी सर्वर में सेव करके रखा है. ये डेटा इतना बड़ा है कि किस समय किसे कॉल किया और मैसेज में किसे क्या कहा ये भी दिया गया है. आम तौर पर लोगों को ये लगता है कि फेसबुक के पास ये जानकारी होगी कि कौन सा एप इस्तेमाल किया है, क्या सर्च किया है या फिर किसे फ्रेंड्सरिक्वेस्ट भेजी है. लेकिन फेसबुक को तो ये भी पता है कि आपने अपने ब्वॉयफ्रेंड से क्या बात की और उससे कितनी बार वीडियो कॉल की. भले ही फेसबुक पर स्टेटस सिंगल हो, लेकिन ये पता लगाना कंपनी के लिए कोई बड़ी बात नहीं कि आपका ब्वॉयफ्रेंड या गर्लफ्रेंड कौन है.
जब मैंने फेसबुक से अपना डेटा निकाला तो वाकई इतनी डिटेल्स देखकर चौंक गई. फेसबुक के पास वो भी डेटा था जब मैंने पहली बार किसी को वॉयसनोट भेजा था और मैंने सालों पहले किसी को एक मैसेज किया था.
ये रिजल्ट आया सामने..
फेसबुक का डेटा निकलाने में थोड़ा वक्त लग सकता है क्योंकि ये डेटा किसी यूजर की पर्सनल फेसबुक एक्टिविटी पर निर्भर करता है. एक बार रिक्वेस्ट करने पर फेसबुक कुछ समय लेगा और पर्सनल डेटा दे देगा.
1. ये Zip फाइल फॉर्मेट में आएगा. जब इसे खोलेंगे तो असली डेटा दिखेगा.
2. इसमें एड्स, एप्स, कॉन्टैक्ट, मैसेज, फोटो, प्रोफाइल, फ्रेंडरिक्वेस्ट, सर्च आदि सब कुछ मौजूद है.
3. चंद फोल्डर हैं जिसमें मैसेज, एचटीएमएल, फोटो, वीडियो और इंडेक्स शामिल है. हर फोल्डर में अपना स्पेसिफिक डेटा है.
4. ऊपर दी गई फोटो में मैंने मैसेज वाला फोल्डर खोला है. इसमें ऑडियो, वीडियो, फोटो, जीआईएफ सब कुछ दिया गया है. किसे भेजा, कब भेजा सारी डिटेल्स हैं और साथ ही नीचे क्रोम फॉर्मेट में सारे मैसेज हैं जो भी मैंने किसी को भेजे हैं या किसी और ने मुझे किए हैं. फेसबुक के पहले मैसेज से लेकर लेटेस्ट तक सारी डिटेल्स इसमें मिल जाएंगी.
5. अब आई कॉन्टैक्ट खोलने की बारी. इसने ओपन होने में थोड़ा समय लिया.
मेरे सामने हर वो कॉन्टैक्ट था जिसे या तो मैंने अपने फोन में सेव किया है या फिर कभी भी अपने फोन से मैसेज या कॉल किया है. अगर किसी के दो फोन नंबर हैं तो दोनों ही नंबर इस लिस्ट में दिए गए थे.
मैं शुक्रिया कहूं या डरूं?
इस बात को लेकर चिंता हो रही है. फेसबुक ने जिंदगी आसान बनाने के लिए हमारा डेटा लिया (कम से कम कंपनी का यही दावा है.), कंपनी कहती है कि वो इस डेटा को बेचती भी नहीं है (फेसबुक पर पर्सनलाइज्ड एड्स तो अपने आप आ जाते हैं.) फेसबुक बेहतर सर्विसेज दे इसलिए यूजर का डेटा लिया जाता है. ठीक है, मेरी खींची हुई कोई फोटो जो फोन गैलरी में सेव है वो भी फेसबुक प्रोफाइल पर दिखने लगती है और फेसबुक ये पूछता है कि उसे अपलोड किया जाए क्या? स्क्रीनशॉट्स, पर्सनल डॉक्युमेंट्स, आईडी कार्ड आदि सब फेसबुक की एक्सेस में हैं. ऐसे में चिंता करना वाजिब इसलिए है क्योंकि सिर्फ एक नहीं कई कैम्ब्रिज एनालिटिका जैसे फर्म्स बैठी हैं हमारा डेटा चुराने के लिए.
ये डेटा अगर इतनी आसानी से एक्सेसिबल है तो फिर कई देशों की सरकारें, आतंकवादी, हैकर, साइबर क्रिमिनल, बैंक अकाउंट चोर कितनी आसानी से इसका इस्तेमाल कर सकते हैं. क्या वाकई हमारी वर्चुअल लाइफ इतनी असुरक्षित है.
ट्विटर पर भी लोग फेसबुक डेटा सर्विस को लेकर अपने रिएक्शन दे रहे हैं. एक यूजर ने पूरे ट्विटर थ्रेड में फेसबुक डेटा का लेखा-जोखा दिया. कितना डेटा सेव है ये देखकर लोग हैरान हैं..
They know how many times I've 'contacted' every individual contact I've ever kept in my phone over the last few years. This includes people I'd forgotten about years ago. This includes calls and texts made through my cellular network, which has nothing to do with FB.
— Buffetkhor (@MyDixonCider) March 24, 2018
Went through the "html' folder. Nothing else much there. Just general stuff.Now I'm in messages. All the media I've ever shared or received there is saved. Glad to see those stupid voicenotes from 2013 are still out there on some server.
— Buffetkhor (@MyDixonCider) March 24, 2018
Aside from invading my contacts, call history, and sms data, I don't see anything too damning in there. Tbf, they're not gonna give me my secret metadata on a silver platter. I just wanted to see if I'd find anything out of the ordinary in there. The aforementioned is enough.
— Buffetkhor (@MyDixonCider) March 24, 2018
कैसे देखें अपना डेटा?
फेसबुक का ये फीचर कुछ नया नहीं है, लेकिन Cambridge Analytica के खुलासे के बाद लोग ज्यादा से ज्यादा इसे सर्च कर रहे हैं. इसे एंड्रॉयड डिवाइस या सिस्टम किसी से भी एक्सेस किया जा सकता है.
करना सिर्फ ये है कि अपने फेसबुक अकाउंट की सेटिंग्स पर जाना है और उसके बाद पहला पेज खुलते ही नीचे डाउनलोड डेटा ऑप्शन पर क्लिक करना है.
अपनी फेसबुक सेटिंग्स में जाना होगा
डाउनलोड का ऑप्शन सबसे नीचे दिखेगा
ये डेटा निकालना जितना आसान ही इसे निकालने के बाद किसी को भी लगेगा कि आखिर हमारी कितनी जानकारी फेसबुक के पास है. 2008 में भी अगर किसी ने फेसबुक से कोई मैसेज किया है तो उसका रिकॉर्ड भी आसानी से मिल जाएगा. एक और चौंकाने वाली बात ये है कि अगर कोई ये चाहे कि उसका कोई डेटा फेसबुक से डिलीट कर दिया जाए तो फेसबुक ये सुविधा यूजर को नहीं देता है. मतलब अपना पर्सनल डेटा भी डिलीट नहीं किया जा सकता है.
कितनी चैट की, कितने वॉयसनोट भेजे, कितने वीडियो भेजे या रिसीव किए सारी जानकारी फेसबुक के पास है. अब खुद ही सोच लीजिए ये डेटा अगर किसी एक फर्म के पास जा सकता है तो किसी भी फर्म के पास जा सकता है, कितना आसान है किसी अन्य फर्म के पास ये डेटा जाना और इसका इस्तेमाल किया जाना.
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