प्रभु की रेल: आम आदमी को अब टेक-सैवी होना पड़ेगा
सुरेश प्रभु के रेल बजट में उन सुविधाओं की भरमार है जो ऑनलाइन उपलब्ध होंगी. बात बात पर आपको एसएमएस अलर्ट भी मिलते रहेंगे. रेल मंत्री का कहना है कि उन्हें पांच साल में रेलवे का कायाकल्प करना है.
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सुरेश प्रभु के रेल बजट में उन सुविधाओं की भरमार है जो ऑनलाइन उपलब्ध होंगी. बात बात पर आपको एसएमएस अलर्ट भी मिलते रहेंगे. रेल मंत्री का कहना है कि उन्हें पांच साल में रेलवे का कायाकल्प करना है. इसके लिए 'कायाकल्प' नाम से एक इनोवेश काउंसिल बनाई जा रही है.
अब सब ऑनलाइन पाइए
रिजर्वेशन टिकट तो बुक कराये ही जा रहे थे, अब जनरल टिकटों की भी ऑनलाइन बुकिंग कराई जा सकेगी. चलती गाड़ी में खाली सीट की सूचना भी ऑनलाइन मिल सकेगी. बुजुर्गों और अन्य जरूरतमंद लोगों के लिए व्हीलचेयर भी ऑनलाइन बुक कराई जा सकेगी. खाने को लेकर तो चिंता तो बिलकुल ही छोड़ दीजिए - अब खाना भी ऑनलाइन बुक कीजिए और अपनी सीट पर बैठे बैठे लंच और डिनर का मजा लीजिए. इतना ही नहीं अब रेलवे में नौकरी के लिए आवेदन भी ऑनलाइन किए जा सकेंगे. साथ ही, लोगों से इनोवेटिव टेक्नोलॉजी साल्युशन आमंत्रित करने के लिए अलग से एक टेक्नोलॉजी पोर्टल भी बनाया जाएगा.
बात बात पर एसएमएस अलर्ट
यात्रियों को अब बात बात पर एसएमएस अलर्ट मिलते रहेंगे. टिकट कंफर्म होने की जानकारी तो पहले से ही मिलती रही है. ट्रेन कब आएगी या छूटेगी - ये सब जानने के लिए अब आपको बार बार न तो साइट पर लॉग ऑन करने की जरूरत होगी न ही फोन करने की. अगर ट्रेन लेट हुई तो उसके खुलने का नया समय क्या होगा? ट्रेन अगर लेट है तो उसके आने का नया टाइम क्या होगा. ये सब जानकारी अब आपके मोबाइल पर एसएमएस के रूप में मिलती रहेगी.
हर हाथ में टिकट चेकिंग मशीन
दलालों से निजात पाने के लिए रेलवे की अब तक की सारी कोशिशें तकरीबन बेअसर रही हैं. इसके लिए नये नये नुस्खे आजमाए जाते रहे हैं. इसे फुल-प्रूफ बनाने के लिए टीटीई को अब एक मोबाइल टर्मिनल दिया जाएगा जिसकी मदद से वो यात्रियों का वेरीफिकेशन किया जाएगा. इसमें यात्री चार्ट भी डाउनलोड हो जाएगा जिसे अलग से लेकर चलने के जरूरत नहीं होगी.
वाई-फाई और अन्य सुविधाएं
रेल बजट के मुताबिक देश के 400 रेलवे स्टेशन वाई-फाई सुविधा से लैस होने जा रहे हैं. इसके साथ ही देश भर में 10 सैटेलाइट रेलवे स्टेशन भी विकसित किए जाएंगे और दो साल के भीतर दो हजार स्टेशनों पर केंद्रीकृत रेलवे डिस्प्ले नेटवर्क लग जाएंगे. अब यात्रियों के लिए एक बहुभाषी रेलवे ई-टिकट पोर्टल शुरू किया जा रहा है. अभी तक ये सुविधा सिर्फ अंग्रेजी और हिंदी में उपलब्ध थी.
टिकटों की बुकिंग तो वैसी ही होगी, लेकिन अब चार महीने पहले भी टिकट बुक कराए जा सकेंगे. पहले ऐसा 60 दिन पहले तक ही संभव था. किसानों के लिए विशेष योजना तैयार की जाएगी जो आईआरसीटीसी के जरिए होगा. आग के हादसों को रोकने के लिए कोच में वॉर्निंग सिस्टम लगाए जाएंगे. साथ ही पार्सल और वैगन की ट्रैकिंग के लिए बार कोड की व्यवस्था होगी.
आर एंड डी पर जोर
सुविधाएं और सुरक्षा बढ़ाने के लिए रेल मंत्रालय रिसर्ड एंड डेवलपमेंट का भी इंतजाम करने जा रहा है. इसके तहत देश भर में चार रेलवे रिसर्च इंस्टीट्यूट खोले जाएंगे. काशी हिंदू विश्वविद्यालय के प्रौद्योगिकी संस्थान में 'मालवीय चेयर फॉर रेलवे टेक्नोलॉजी' स्थापित किए जाने की भी घोषणा की गई है. रेलवे के प्रोजेक्ट पर रिसर्च के लिए रेल मंत्रालय, मानव संसाधन मंत्रालय और विज्ञान प्रौद्योगिकी व उद्योग मंत्रालय को मिलाकर एक फोरम बनाया जाएगा.
कोई कुछ भी कहे, सुरेश प्रभु का रेल बजट टेक्नो-सैवी है इसमें शक की कम ही गुंजाइश है. इस बार आईटी और रिसर्ज के लिए 5000 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया है.
वैसे इस रेल बजट में खुश होने के लिए सारे ख्याल अच्छे हैं बशर्ते भविष्य की इन सुविधाओं का हाल भूत काल की ई-टिकट देनेवाली आईआरसीटीसी की वेबसाइट जैसा न हो.
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