देश हो गया भिखमंगा सी! पीएम के सपने में सब चंगा सी...
चाहे देश की अर्थव्यवस्था हो या फिर बेरोजगारी. बैंकों के कर्जे से लेकर लोगों की नौकरी जाने तक देश के PM Narendra Modi उनकी सरकार और उसकी कार्यप्रणाली सवालों के घेरे में है. अभी सब इसलिए खामोश हैं क्योंकि सभी देशभक्ति के नशे में डूबे हुए हैं.
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तमाम पिछली सरकारों के जैसे मोदी सरकार (Modi Government) का फॉर्मूला भी टैक्स पेयर्स (PM Modi ON Tax Payers) पर टैक्स बढ़ा के खर्चा पूरा करने से ज्यादा नहीं है. यानी सरकार के पास टैक्स पेयर्स को बढ़ाने की योजना नहीं है. जैसे 130 करोड़ लोगों का कर्जा खा के बैठे हैं 5.8 करोड़ टैक्स पेयर्स. आदरणीय प्रधानमंत्री जी आप के विकास की गणित 10वीं के एलजेब्रा के फॉर्मूले में X वाली वेल्यू के जैसे है. जिसे आप विकास के बराबर मान हर इकोनॉमिक ईक्वेशन को हेन्स प्रूव करने के चक्कर में देश का बेड़ा गर्क किये दे रहे हैं. आज बेरोजगारी (Unemployment) चरम पर है, अर्थव्यवस्था (economy) ICU में है, रुपया, कांग्रेस (Congress) के समय मे वेंटिलेटर पर था, आप के समय में कोमा में है. किसान मृत्यु दर बढ़ गयी. महिला अपराध में कोई कमी नहीं. 100 वाट के बल्ब की जगह 5 वाट की LED लग गयी लेकिन बिजली के बिल में कमी होने के बजाए 40% की वृद्धि हुई. 200 से ज्यादा छोटी बड़ी कंपनियां देखते ही देखते ध्वस्त हो गयीं. 15 लाख से ज्यादा नौकरीपेशा लोग आज बेरोजगार हो चुके हैं. सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी (सीएमआईई) की तरफ से जारी आंकड़ों के मुताबिक फरवरी 2019 में बेरोजगारी दर 7.2 फीसदी तक पहुंच गई. जो कि 45 सालों में सबसे ज्यादा है. लेकिन आप के लिए देश मे सब चंगा सी.
सरकार जो भी योजनाएं बना रही है उसका आम आदमी को फायदा कम नुकसान ज्यादा हो रहा है
सही कहा "चंगा सी" आप की मौजूदा सरकार को देख के तो यही लगता है कि पहले वाली सरकार में देश चंगा ही था. आप ने तो ऐसी लात मारी की देश भूखा नंगा सी हो गया.न किसान खुश. न नौजवान खुश. न व्यापारी खुश. न कर्मचारी खुश. बेटी बचाते बचाते आप की सरकारें बलात्कारियों को बचाने लगीं. भ्रष्टाचार को मिटाते मिटाते आज राष्ट्रीय से लेके क्षेत्रीय पार्टियों के टॉप भ्रष्टाचारी अपराधी भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर चुके हैं.
येन केन प्रकारेण, किसी भी सूरते हाल सरकार बना लेने की दिव्य योग्यता है आप में. कभी मुफ़्ती कभी NCP. फिर कांग्रेस में क्या कमी है? फाइनल डील कर लीजिए. बिज़नेस अडाणी और अम्बानी के अलावा किसी का फलने फूलने नहीं देते और चुनाव कोई किसी के ख़िलाफ़ लड़े आप से मिले बिना सरकार बनने नहीं देते.
मूर्खों को मुद्रा लोन बांट रहे. आधे से ज्यादा आप की पार्टी के कार्यकर्ता है जो पैसे पी के बैठ गए और हम जैसे टैक्स पेयर का मुद्रा योजना में 3.21 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का एनपीए हो चुका है. लेकिन देश मे सब चंगा सी! ये पैसे किसी के बाप के नहीं थे. देश के प्रति आप की जिम्मेदारी है. देश आप के उटपटांग एक्सपेरिमेंट्स की प्रयोगशाला नहीं है.
आप का क्या है? आप तो फ़कीर आदमी हैं. झोला उठा के चल देंगे पर सोचिए हम कहां जाएंगे? ये देश कहां जाएगा? मैं देश नहीं झुकने दूंगा, मैं देश नहीं बिकने दूंगा करते करते रेलवे ऐतिहासिक घाटे में, प्राइवेट ट्रेन चलानी पड़ रही है, एयरपोर्ट नीलाम हो रहे हैं, भारत पेट्रोलियम, एयर इंडिया, BSNL जैसी संस्थाएं बिकने के लिए तैयार हैं.
बैंक्स डूब चुके हैं. RBI के पास पैसा नहीं बचा. लोगों के पास सेविंग्स नहीं बची. मार्केट गिर चुकी है. इकोनॉमी भी आईसीयू में हैं. पर इतनी गिरावट के बाद भी आख़िर कौन सा ऐसा जिन्न है जो भाजपा जैसी ईमानदार देश भक्त पार्टी की तिजोरी को भरे जा रहा है और क्यों? सवाल कई है पर देश अभी देशभक्ति के नशे में है.
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