जीएसटी काउंसिल ने एक बार फिर कई चीजों के टैक्स रेट में बदलाव किया है. करीब 40 से ज्यादा चीजें सस्ती हो गई हैं तो कुछ महंगी भी हुई हैं. जो सामान महंगे हुए हैं उनमें 2, 5, 7 प्रतिशत तक की बढ़त की गई है. इनमें अहम हैं कार...
40 चीजों के दाम कम...
जीएसटी काउंसिल ने अखरोट, झाडू, मिट्टी की मूर्ति, कस्टर्ड पाउडर, साड़ी की फॉल, रेनकोट, धूपबत्ती, रबर बैंड, इडली-डोसा बैटर, कॉरडरॉय कपड़ा, कंप्यूटर मॉनिटर, टेबल और किचन का सामान, पूजा करने की माला आदि पर रेट कम किया गया है. खादी (जो खादी ग्रामोद्योग में बिकती है.) और पूजा की माला को जीएसटी के दायरे से बाहर रखा गया है.
कार खरीदने वालों के लिए मुश्किल...
अगर आप दिवाली के लिए कार खरीदने की सोच रहे हैं तो एक बार अपना बजट फिर देख लें क्योंकि हाल ही में हुई जीएसटी काउंसिल की बैठक में सबसे बड़ा असर कार ग्राहकों पर पड़ा है. कुछ कारों के सेस में 7% तक की बढ़त हो गई है. बदली हुई कीमत सोमवार से ही लागू हो सकती है.
छोटी कारें...
जीएसटी काउंसिल ने छोटी कारें जनका पेट्रोल इंजन 1200CC तक का होता है (डीजल गाड़ियों के लिए 1500CC) उनपर कोई बदलाव नहीं किया है. यानि छोटी कारें उसी दाम में रहेंगी. इनपर अभी तक 43% टैक्स लगता था यानि (28% जीएसटी और 15% सेस).
उदाहरण के तौर पर...
रेनॉल्ट क्विड (कीमत रेंज 2.95 - 4.41 लाख के बीच), मारुति सुजुकी सिलेरियो (कीमत 4.36 लाख से 6.43 लाख के बीच), सुजुकी स्विफ्ट (कीमत 5.20-8.43 लाख के बीच) जैसी गाड़ियां बिना किसी बदलाव के खरीदी जा सकेंगी.
मीडियम रेंज कारें...
इसमें वो सभी कारें है जो लग्जरी तो हैं, लेकिन एसयूवी नहीं हैं. पहले मिड रेंज सेग्मेंट पर 46.60 प्रतिशत...
जीएसटी काउंसिल ने एक बार फिर कई चीजों के टैक्स रेट में बदलाव किया है. करीब 40 से ज्यादा चीजें सस्ती हो गई हैं तो कुछ महंगी भी हुई हैं. जो सामान महंगे हुए हैं उनमें 2, 5, 7 प्रतिशत तक की बढ़त की गई है. इनमें अहम हैं कार...
40 चीजों के दाम कम...
जीएसटी काउंसिल ने अखरोट, झाडू, मिट्टी की मूर्ति, कस्टर्ड पाउडर, साड़ी की फॉल, रेनकोट, धूपबत्ती, रबर बैंड, इडली-डोसा बैटर, कॉरडरॉय कपड़ा, कंप्यूटर मॉनिटर, टेबल और किचन का सामान, पूजा करने की माला आदि पर रेट कम किया गया है. खादी (जो खादी ग्रामोद्योग में बिकती है.) और पूजा की माला को जीएसटी के दायरे से बाहर रखा गया है.
कार खरीदने वालों के लिए मुश्किल...
अगर आप दिवाली के लिए कार खरीदने की सोच रहे हैं तो एक बार अपना बजट फिर देख लें क्योंकि हाल ही में हुई जीएसटी काउंसिल की बैठक में सबसे बड़ा असर कार ग्राहकों पर पड़ा है. कुछ कारों के सेस में 7% तक की बढ़त हो गई है. बदली हुई कीमत सोमवार से ही लागू हो सकती है.
छोटी कारें...
जीएसटी काउंसिल ने छोटी कारें जनका पेट्रोल इंजन 1200CC तक का होता है (डीजल गाड़ियों के लिए 1500CC) उनपर कोई बदलाव नहीं किया है. यानि छोटी कारें उसी दाम में रहेंगी. इनपर अभी तक 43% टैक्स लगता था यानि (28% जीएसटी और 15% सेस).
उदाहरण के तौर पर...
रेनॉल्ट क्विड (कीमत रेंज 2.95 - 4.41 लाख के बीच), मारुति सुजुकी सिलेरियो (कीमत 4.36 लाख से 6.43 लाख के बीच), सुजुकी स्विफ्ट (कीमत 5.20-8.43 लाख के बीच) जैसी गाड़ियां बिना किसी बदलाव के खरीदी जा सकेंगी.
मीडियम रेंज कारें...
इसमें वो सभी कारें है जो लग्जरी तो हैं, लेकिन एसयूवी नहीं हैं. पहले मिड रेंज सेग्मेंट पर 46.60 प्रतिशत टैक्स लगता था जो जीएसटी के लागू होने के बाद 43 प्रतिशत हो गया था अब ये बढ़ाकर 45% कर दिया गया है. इसके अलावा, नॉन एसयूवी लग्जरी कार भी मीडियम रेंज सेग्मेंट में रखी गई हैं जिनपर 48% टैक्स लगेगा.
उदाहरण के तौर पर...
महिंद्रा KV100 जिसकी कीमत 5.04 से 8.29 लाख के बीच थी अब वो 50 हजार से 1 लाख रुपए तक महंगी हो सकती है. इसी तरह का फर्क ह्युंडई 4S फ्लूइडिक वर्ना, स्कॉडा रेपिड, वेंटो आदि में भी पड़ेगा.
SV / लग्जरी ..
सबसे ज्यादा फर्क SV कारों पर पड़ेगा. जीएसटी लागू होने से पहले इनपर 51.08% टैक्स लगता था जो जीएसटी लागू होते ही 43% तक पहुंच गया था. 11 % का मार्जिन कम करने के लिए इस रेट को वापस बढ़ा कर 50% कर दिया गया है. इस तुलना में देखा जाए तो कारें महंगी तो होंगी, लेकिन कीमत उससे थोड़ी कम ही रहेगी जितनी जीएसटी लागू होने के पहले थी.
उदाहरण के तौर पर...
मर्सिडीज CLA जो 30.65 लाख के आस-पास थी वो अब 32.65 लाख हो जाएगी. मर्सिडीज सी क्लास में तीन लाख रुपए बढ़ेंगे जो 44.85 से 47.85 लाख रुपए की हो जाएगी. फॉर्चुनर में भी 1.5 लाख की बढ़त होगी जो 24.41 लाख से 26 लाख की हो जाएगी. ऑडी Q7 70 लाख से बढ़कर 77 लाख की हो जाएगी. हॉन्डा सिटी 8.46 लाख से बढ़कर 9.20 लाख की हो जाएगी.
जीएसटी रिटर्न में बदलाव...
जीएसटी रिटर्न फाइल करने की डेट बढ़ा दी गई है. इसका एक कारण GSTN पोर्टल भी हो सकता है. हैवी लोड के चलते वो भी ठीक से काम नहीं कर रहा है. GSTR1 जिसे 10 सितंबर तक भरा जाना था वो अब 10 अक्टूबर तक भरा जा सकता है. ये छोटे व्यापारियों के लिए है. यहीं बड़ी कंपनियों के लिए ये मियाद 3 अक्टूबर तक की है.
कंपनियां जिनका टर्नओवर 100 करोड़ से ज्यादा है वो 3 अक्टूबर तक ही अपना जीएसटी रिटर्न फाइल कर सकती हैं. बाकी सबके लिए 10 अक्टूबर तक का समय है. जीएसटीआर 2 यानि जुलाई का रिटर्न फाइल करने के लिए 31 अक्टूबर तक की तारीख दी गई है. GSTR-3 के लिए नवंबर 10 तक की तारीख तय की गई है.
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