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Updated: 17 मार्च, 2023 07:05 PM
बिलाल एम जाफ़री
बिलाल एम जाफ़री
  @bilal.jafri.7
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पाकिस्तान में राजनीतिक उथल-पुथल मची हुई है. पीएम शहबाज शरीफ की कोशिश यही है कि किसी भी सूरत में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को गिरफ्तार करा दिया जाए. वहीं इमरान बार बार अपने समर्थकों को ढाल बना रहे हैं मकसद बस इतना है कि कैसे भी करके अपने को पुलिस की हथकड़ी से बचा लिया जाए. सरकार गिरफ्तारी को लेकर आतुर है. इमरान बार बार बच जा रहे हैं ऐसे में मुल्क के हालात कितने ख़राब है और कैसे इसे लेकर तनाव बना हुआ है इसे उस मंजर से समझ सकते हैं जब अभी बीते दिन लाहौर स्थित जमान पार्क स्थित इमरान के आवास पर पुलिस उन्हें गिरफ्तार कर सलाखों के पीछे डालने के उद्देश्य से आई. इमरान समर्थक मौके पर पहले से ही मौजूद थे ऐसे में पुलिस के सामने चुनौती दोहरी थी. खूब लाठियां भांजी गई आंसू गैस के गोले छोड़े गए लेकिन इमरान समर्थकों के इरादे इतने बुलंद थे कि पुलिस छह कर भी उन्हें डिगा नहीं पाई.

Imran Khan, Pakistan, Prime Minister, Arrest, Police, Shahbaz Sharif, Oppose, Controversyपाकिस्तान में इमरान खान को गिरफ्तार करने आई पुलिस और इमरान समर्थकों के बीच भारी तनाव देखने को मिला

भले ही पुलिस हमेशा की तरह एक बार फिर तोशखाना मामले में इमरान को गिरफ्तार करने में नाकाम हुई हो. लेकिन इतना तो समझ में आ ही गया है कि आगे आने वाले दिनों में ये तमाशा अभी और बढ़ेगा. और हम ऐसा बहुत देखेंगे, जो इस बात की तस्दीख खुद करेगा कि पाकिस्तान का निजाम इमरान और शहबाज की बदौलत हर बीतते दिन के साथ बद से बदतर हुआ था. वैसे बता दें कि कोर्ट से इमरान को बड़ी राहत मिली है और उनका गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट सस्पेंड कर दिया गया है.    

 

क्या नज़ारे थे जमान पार्क के

इमरान की गिरफ्तारी किसी भी क्षण हो सकती है. इस खबर ने इमरान समर्थकों को बेचैन करके रखा हुआ था इसलिए जैसे ही ये खबर आई कि पुलिस ने फिर एक बार शिकंजा बिछाया है इमरान समर्थकों का पारा सातवें आसमान पर पहुंच गया. इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के सैकड़ों कार्यकर्ता जमान पार्क स्थित आवास के बाहर जमा हो गए. इमरान को गिरफ्तार करने के लिए जैसे ही पुलिस की टीमें इस्लामाबाद से पहुंचीं, तनाव उबल गया.

फिर समर्थक तो समर्थक जिसके पास जो था वो वैसे ही पुलिस पसर टूट पड़ा. जैसे नज़ारे थे एक बार तो देखकर यही लगा कि जैसे पुलिस भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे इमरान को गिरफ्तार करने नहीं आई है बल्कि उनके सामने तालिबानी लड़ाके हैं जिन्हें पुलिस को किसी भी सूरत में निढ़ाल करना है. उग्र प्रदर्शनकारियों से निपटने के लिए पुलिस ने खूब लाठियां बरसाई. गोलियां चली और भीड़ को तितर बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले चलाए गए.

मामले में रोचक ये रहा कि इमरान के समर्थन में सामने आए प्रदर्शनकारी भी किसी कीमत पर झुकने को तैयार नहीं थे. नौबत बिलकुल युद्ध जैसी थी. इधर से पुलिस गोलियां चलाती आंसू गैस के गोले मारती उधर से दोगुने उत्साह से इमरान समर्थक सामने आते और लाठी डंडों और पत्थरों से अपने मसीहा इमरान खान को गिरफ्तार करने आई पुलिस का सामना करते.

पुलिस और इमरान के समर्थकों के बीच हुए इस खूनी संघर्ष का खामियाजा दोनों ही पार्टियों को भुगतना पड़ा है. जैसी ख़बरें आ रही हैं उपद्रव में जहां एक तरह कई पुलिसकर्मी घायल हुए हैं तो वहीं इमरान समर्थक भी बुरी तरह घायल हुए हैं. चूंकि एक बार फिर पुलिस इमरान को सलाखों के पीछे डालने में नाकाम रही है इसलिए इमरान समर्थक इसे अपनी एक बड़ी जीत के रूप में देख रहे हैं.

सिम्पैथी कैसे पाई जाती है इमरान जानते हैं

इस बात में कोई शक नहीं कि जब बात एक नेता की आती है तो अगर शहबाज उन्नीस हैं तो इमरान को कहीं से भी बीस कहना गलत नहीं होगा. जमान पार्क में जो हुआ, जिस तरह उनके चाहने वालों को शाहबाज की पुलिस ने मारा इमरान ने उसे एक बड़े मुद्दे की तरह पेश किया. इमरान ने कुछ तस्वीरें ट्विटर पर डाली हैं और अगर उन तस्वीरों को देखें तो साफ़ दिख रहा है कि इमरान एक कुर्सी पर बैठे हैं और उनके सामने जो टेबल है उसमें आंसू गैस के खोखे रखे हैं.

साफ़ है कि इस तस्वीर से इमरान आम पाकिस्तानी आवाम को ये सन्देश दे रहे हैं कि किस तरह सत्ता सुख भोग रहे शाहबाज शरीफ उनकी आवाज दबाने की कोशिश कर रहे हैं.

तो क्यों इमरान के पीछे पड़े हैं शहबाज

पूर्व प्रधानमंत्री इमरान को उनकी हदें बताने के लिए शहबाज शरीफ ने भ्रष्टाचार के कई गंभीर आरोप लगाए हैं और तोशखाने में हुए घोटाले को मुद्दा बनाया. इमरान पर आरोप था कि उन्होंने विदेशी नेताओं से मिले तोहफों को सरकारी खजाने में जमा करने के बजाए अपने पास रखा. बाद में ये तोहफे इमरान ने ऊंची कीमतों पर बेच दिए. बताते चलें कि इमरान खान पर उपहार में मिली तीन घड़ियां बेचकर 3.6 करोड़ डॉलर कमाने का भी आरोप है.शहबाज ने इमरान की इस हरकत को गंभीरता से लिया और उसके बाद जो हुआ वो हमारे सामने है.

इमरान की गिरफ़्तारी पर क्यों तुले हैं शहबाज

पाकिस्तान के मौजूदा हालात किसी से छिपे नहीं हैं. भुखमरी, बेरोजगारी, कर्जे और महंगाई की मार झेलता पाकिस्तान हर प्रमुख मोर्चे पर विफल है. इमरान के जाने के बाद लोगों को ये उम्मीद थी कि हालात कुछ संभल जाएंगे. लेकिन शरीफ के सत्ता संभालने के बाद पाकिस्तान की स्थिति बद से बदतर होती चली गयी.

दोष अब शरीफ के कन्धों पर मढ़ा गया. शरीफ जनता का ध्यान भटकाना और अपने को एक 'सख्त' मगर कुशल प्रशासक दिखाना चाहते थे इसलिए उन्होंने इमरान को घेरा और उसके बाद जो जो ड्रामे हुए सब दुनिया ने देख लिया है.

पाकिस्तान में क्या भविष्य है इमरान खान का

पाकिस्तान की राजनीति को समझने वाले इस बात के पक्षधर हैं कि पाकिस्तान में इमरान और शहबाज के बीच गिरफ्तारी के नाम पर ये चूहे और बिल्ली का खेल यूं ही जारी रहेगा. लोग इस बात को भी मानते हैं कि पहले तो इमरान खान गिरफ्तार नहीं होने वाले हैं. बावजूद इसके यदि इमरान को गिरफ्तार कर भी लिया गया तो उन्हें छोड़ना पाकिस्तान की वर्तमान हुकूमत की मज़बूरी होगी.

ध्यान रहे भारी घमासान के बीच कोर्ट इमरान खान पर नर्म नजर आया है. इस्लामाबाद हाईकोर्ट से  इमरान को बड़ी राहत मिली है जहां हाईकोर्ट ने उनका गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट सस्पेंड कर दिया है. ध्यान रहे कि पहले कोर्ट ने 18 मार्च तक इमरान को गिरफ्तार करके अदालत के समक्ष पेश होने का आदेश दिया था. कोर्ट ने उन्हें निचली अदालत के समक्ष पेश होने का भी मौका दिया है. इस्लामाबाद हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस आमेर फारूक ने खान के खिलाफ जारी गिरफ्तारी वारंट रद्द करते हुए कहा कि सत्र अदालत और पुलिस को उन्हें पर्याप्त सुरक्षा देने का भी निर्देश दिया है.  

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लेखक

बिलाल एम जाफ़री बिलाल एम जाफ़री @bilal.jafri.7

लेखक इंडिया टुडे डिजिटल में पत्रकार हैं.

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