तो क्या इस वजह से टारगेट पर हैं लालू?
लालू यादव कुछ समय से बिहार बीजेपी के टारगेट पर थे, क्या यही असली वजह है या उनके हाल फिलहाल के ट्वीट इसके लिए जिम्मेवार हैं ? या इस बहाने बिहार में चल रही गठबंधन सरकार में दरार डालना है.
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चारा घोटाले में झटका खा चुके लालू प्रसाद यादव को एक बार फिर से झटका लगा है. इस बार यह झटका दिया है आयकर विभाग ने. लेकिन क्या लालू को पहले ही इस बात का आभास था ? इस बात का जिक्र उन्होंने अपने ट्वीट में व्यक्त कर दिया था. क्या लालू को पता था कि उनपर कभी भी संकट आ सकता है, उनके कल के ट्वीट से तो ऐसा ही लगता है. लालू कुछ समय से बिहार बीजेपी के टारगेट पर थे, क्या यही असली वजह है या उनके हाल फिलहाल के ट्वीट इसके लिए जिम्मेवार हैं ? या इस बहाने बिहार में चल रही गठबंधन सरकार में दरार डालना है.
BJP is targeting those leaders who are questioning them repeatedly. BJP sponsored channels r indulged in character assassination of them pic.twitter.com/v834xXJ1sB
— Lalu Prasad Yadav (@laluprasadrjd) May 15, 2017
अगर प्रधानमंत्री में हिम्मत है तो 3साल पूरे होने के बाद लोकसभा भंग करे और जिन राज्यो मे आगामी कुछ महीनो मे चुनाव है,उनके साथ ही चुनाव करा ले pic.twitter.com/O7ds8my6zE
— Lalu Prasad Yadav (@laluprasadrjd) May 15, 2017
लालू यादव को खत्म करने की चाल है
अपनी प्रतिक्रिया देते हुए राजद नेता रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा कि यह कार्रवाई लालू यादव को खत्म करने की भाजपा की चाल है.
आयकर विभाग का छापा
आयकर विभाग ने लालू प्रसाद यादव और उनके बेटों के दिल्ली-एनसीआर में मौजूद 22 ठिकानों पर छापेमारी की. विभाग को लालू की 1000 करोड़ की बेनामी संपत्ति होने का शक है. सुशील मोदी ने लालू प्रसाद यादव पर आरोप लगाया था कि वे बेनामी करोड़ों की संपत्ति के मालिक हैं और उन्होंने चुनाव आयोग को दिए गए हलफनामे में अपने गुप्त व्यवसायों का उल्लेख नहीं किया था.
बिहार बीजेपी लगातार कर रही थी लालू पर हमले
बिहार बीजेपी ने लालू यादव, बेटे तेजस्वी और तेज प्रताप (दोनों बिहार सरकार में मंत्री) तथा बेटी मीसा भारती, पर बेनामी प्रॉपर्टी खरीदने का आरोप लगाया था, तथा केंद्र सरकार से इसकी जांच करने की मांग भी की थी.
कल ही बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था, 'जिन्होंने आरोप लगाए, अगर उन्हें लगता है कि ये सही हैं तो उन्हें आगे बढ़ना चाहिए. कानून का सहारा लें, सिर्फ बयान न दें. सभी आरोप कंपनी कानून से जुड़े हैं, जो केंद्र के दायरे में आता है.' 'आरोपों के बारे में लालूजी और आरजेडी ने जवाब दे दिया है, इस पर किसी तीसरे पक्ष के बोलने की जरूरत नहीं है'.
आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने अपनी सम्पत्ति को लेकर कहा कि अगर बेल पक भी जाए तो कौवे के बाप का क्या जाता है.
आरोपों का सिलसिला
बेनामी संपत्ति
18 अप्रेल 2017 : बिहार बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुशील मोदी ने आरजेडी चीफ लालू प्रसाद के परिवार पर एक शराब कारोबारी से लालू के रेलमंत्री रहते हुए बेनामी संपत्ति खरीदने के लिए एक कंपनी का गठन किया, और बाद में उस कंपनी को लालू परिवार को हस्तांतरित कर दिया. उन्होंने दावा किया कि बिहटा में शराब फैक्ट्री के मालिक ओम प्रकाश कत्याल ने उनके लिए ए.के. इनफोसिस्टम प्राइवेट लिमिटेड नाम की कंपनी बनाई. उनका आरोप है कि यह कंपनी इसलिए बनाई गई ताकि बाद में इस संपत्ति को लालू परिवार को हस्तांतरित की जा सके. बाद में 'कंपनी ने तेजस्वी और तेज प्रताप को प्रभुनाथ यादव की तरफ से गिफ्ट में मिली 14 लाख की सलेमगुरा डुगला की दो मंजिली बिल्डिंग सहित जमीन 70 लाख में खरीदी.' सुशील का दावा है कि कत्याल परिवार ने गिफ्ट में मिली जमीन खरीदने के लिए कंपनी को कर्ज दिया. यह मकान प्रभुनाथ ने 2005 में 6 लाख 95 हजार में खरीदा था जो बाद में लालू के बेटों को दे दिया गया. फिर लालू के बेटों से इस मकान को कत्याल परिवार ने 54 लाख 25 हजार में खरीदा. सुशील कुमार मोदी ने कहा कि कंपनी 2014 में लालू के परिवार को हस्तांतरित कर दी गई और ऐसे में मकान और इसको खरीदने में लगे पैसे लालू परिवार के पास ही रहे.
गलत तरीके से पेट्रोल पंप का आवंटन
5 मई 2017 : सुशील कुमार मोदी ने एक और नया खुलासा करते हुए कहा कि राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव के मंत्री पुत्र तेज प्रताप यादव ने केंद्र की तत्कालीन संप्रग सरकार के कार्यकाल के दौरान गलत दस्तावेजों के आधार पर पटना में एक पेट्रोल पंप अपने नाम पर आवंटित करा लिया. उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र की तत्कालीन संप्रग सरकार के कार्यकाल 2011 के दौरान लालू के बड़े पुत्र तेज प्रताप यादव ने पटना के न्यू बाईपास स्थित बेउर के निकट गलत दस्तावेजों के आधार पर अधिकारियों की मिलीभगत से भारत पेट्रोलियम का एक पेट्रोल पंप अपने नाम करा लिया.
मिट्टी घोटाला
4 अप्रेल 2017 : सुशील कुमार मोदी ने चार अप्रैल को राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव और उनके परिवार पर अस्सी लाख रुपए का मिट्टी घोटाला करने का आरोप लगाया था. 'मिट्टी घोटाला' का खुलासा करते हुए सुशील मोदी ने कहा कि राजधानी पटना में बन रहे बिहार के सबसे बड़े मॉल की मिट्टी को पर्यावरण एवं वन विभाग ने बिना टेंडर निकाले 90 लाख रुपए में खरीद लिया. मोदी के मुताबिक मिट्टी घोटाले का पूरा फायदा आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के परिवार को मिला.
मोदी के अनुसार 2010 में लारा डिस्ट्रीब्यूटर्स प्राइवेट लिमिटेड के नाम से 45 डेसिमल जमीन, 53.34 लाख रुपये में खरीदी और इस जमीन पर एक मोटरसाइकिल कंपनी का शोरूम भी शुरू किया गया. इस शोरूम को शुरू करने के लिए 2.29 करोड़ रुपये कर्ज लिए गए, तब तेजप्रताप इस कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर थे. हालांकि 2015 में विधानसभा चुनाव परिणाम आने के बाद तेजप्रताप यादव ने इस कंपनी के प्रबंध निदेशक के पद से इस्तीफा दे दिया.
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