हैदराबाद (Hyderabad) में महिला डॉक्टर (Lady Doctor) प्रियंका रेड्डी से रेप (Priyanka Reddy Rape) और हत्या की घटना ने पूरे देश के लोगों के हैरान कर दिया है. लोगों के मन में गुस्सा है कि देश में महिलाएं और लड़कियां सुरक्षित (Women Safety) नहीं हैं. इसी बीच हैदराबाद पुलिस (Hyderabad Police) ने महिलाओं के लिए सुरक्षा के कुछ टिप्स (Safety Tips) जारी किए हैं. इस लिस्ट में एक-दो नहीं, बल्कि 14 प्वाइंट हैं. पुलिस ने लिखा है कि महिलाओं और लड़कियों के लिए बहुत ही अहम संदेश. वैसे तो पुलिस ने अगर कोई एडवाइजरी जारी की है, तो इसमें कुछ गलत नहीं है, लेकिन पुलिस ने जो प्वाइंट लिखे हैं, उन्हें पढ़ने के बाद लोग आग बबूला हो गए हैं. सोशल मीडिया (Social Media) पर तो हैदराबाद पुलिस की फजीहत भी खूब हो रही है. ये भी सवाल उठ रहे हैं कि पुलिस सब कुछ महिलाओं से ही अपेक्षा कर रही है, पुरुषों को क्यों नहीं समझाती कि रेप ना करें.
महिला डॉक्टर ने एडवाइजरी के कई काम किए...
पुलिस ने जो 14 प्वाइंट लिखे हैं, उनमें से एक ये भी है कि अगर आप कहीं फंस जाएं तो आप-पास के यात्रियों से मदद लें. अगर यात्री ना हों तो वहां से गुजर रहे लोगों से मदद लें. महिला डॉक्टर ने भी कुछ ऐसा ही किया था. वह मुसीबत में फंसी तो उसे कुछ लोगों मदद का वादा किया और वह मदद के लिए मान गई. कहना गलत नहीं होगा कि पुलिस की ये टिप तो बिल्कुल भी काम की नहीं है.
पुलिस ने ये भी टिप्स दी है कि लड़कियों को अपने परिवार या दोस्त को ये बताना चाहिए कि वह कहां जा रही हैं और कब वापस लौटेंगी. हो सके तो अपनी लोकेशन भी शेयर कर दें. पहली बात तो ये है कि ये किसी जासूसी से कम नहीं लगता. दूसरी बात ये कि महिला डॉक्टर के...
हैदराबाद (Hyderabad) में महिला डॉक्टर (Lady Doctor) प्रियंका रेड्डी से रेप (Priyanka Reddy Rape) और हत्या की घटना ने पूरे देश के लोगों के हैरान कर दिया है. लोगों के मन में गुस्सा है कि देश में महिलाएं और लड़कियां सुरक्षित (Women Safety) नहीं हैं. इसी बीच हैदराबाद पुलिस (Hyderabad Police) ने महिलाओं के लिए सुरक्षा के कुछ टिप्स (Safety Tips) जारी किए हैं. इस लिस्ट में एक-दो नहीं, बल्कि 14 प्वाइंट हैं. पुलिस ने लिखा है कि महिलाओं और लड़कियों के लिए बहुत ही अहम संदेश. वैसे तो पुलिस ने अगर कोई एडवाइजरी जारी की है, तो इसमें कुछ गलत नहीं है, लेकिन पुलिस ने जो प्वाइंट लिखे हैं, उन्हें पढ़ने के बाद लोग आग बबूला हो गए हैं. सोशल मीडिया (Social Media) पर तो हैदराबाद पुलिस की फजीहत भी खूब हो रही है. ये भी सवाल उठ रहे हैं कि पुलिस सब कुछ महिलाओं से ही अपेक्षा कर रही है, पुरुषों को क्यों नहीं समझाती कि रेप ना करें.
महिला डॉक्टर ने एडवाइजरी के कई काम किए...
पुलिस ने जो 14 प्वाइंट लिखे हैं, उनमें से एक ये भी है कि अगर आप कहीं फंस जाएं तो आप-पास के यात्रियों से मदद लें. अगर यात्री ना हों तो वहां से गुजर रहे लोगों से मदद लें. महिला डॉक्टर ने भी कुछ ऐसा ही किया था. वह मुसीबत में फंसी तो उसे कुछ लोगों मदद का वादा किया और वह मदद के लिए मान गई. कहना गलत नहीं होगा कि पुलिस की ये टिप तो बिल्कुल भी काम की नहीं है.
पुलिस ने ये भी टिप्स दी है कि लड़कियों को अपने परिवार या दोस्त को ये बताना चाहिए कि वह कहां जा रही हैं और कब वापस लौटेंगी. हो सके तो अपनी लोकेशन भी शेयर कर दें. पहली बात तो ये है कि ये किसी जासूसी से कम नहीं लगता. दूसरी बात ये कि महिला डॉक्टर के घरवालों के पता था कि वह कहां गई हैं और कब लौटती हैं. देर होने की वजह से महिला डॉक्टर ने अपनी बहन को फोन कर के बता भी दिया था कि उनकी गाड़ी खराब हो गई है. उन्होंने तो ये भी बता दिया था कि उन्हें डर लग रहा है. सुरक्षा में नाकाम रही हैदराबाद पुलिस अब सिर्फ अपनी वर्दी पर लगे दाग को धोने या यूं कहें कि छुपाने की कोशिशें कर रही है.
लड़कियों के लिए हैदराबाद पुलिस के क्या हैं वो 14 प्वाइंट?
1- कहीं जाएं तो अपने परिवार या दोस्तों-रिश्तेदारों को बता कर जाएं कि कहां जा रही हैं और कब तक वापस आएंगी.
2- अगर मुमकिन हो सके तो अपनी आखिरी लोकेशन शेयर करें.
3- यातायात का साधन. अगर ऑटो या टैक्सी है तो उसके नंबर प्लेट की फोटो और कॉन्टैक्ट डिटेल्स शेयर करें.
4- अगर किसी अनजान जगह पर जा रहे हैं तो जाने से पहले रास्ते को अच्छे से देख लें.
5- किसी का इंतजार कर रहे हैं तो हमेशा भीड़-भाड़ वाली जगहों पर खड़े हों. सुनसान जगहों पर खड़े ना हों. कभी भी पुलिस को मदद का कोई भी सिग्नल देने में हिचकिचाएं नहीं, वह आपकी सुरक्षा के लिए ही हैं.
6- अगर आपके आस-पास लोग नहीं हैं तो आपको किसी दुकान या कमर्शियल यूनिट के पास खड़े होना चाहिए, जहां से रास्ते का चलता हुआ ट्रैफिक साफ-साफ आपको देख सके.
7- हमेशा 100 नंबर डायल करने के लिए तैयार रहें.
8- Hawk eye ऐप (हैदराबाद पुलिस का ऐप) डाउनलोड करें और लोकेशन सर्विस हमेशा ऑन रखें.
9- किसी भी संदेह वाली स्थिति में यात्रियों से मदद मांगें.
10- अगर वहां यात्री या राहगीर नहीं हैं तो फोन पर ऐसे बात करने का नाटक करें, जैसे आप अपने रिश्तेदार से बात कर रहे हैं, जिसे सब पता है कि आपके आस-पास क्या हो रहा है.
11- डरें नहीं और भरोसे के साथ तेज आवाज में बात करें. अगर जरूरत पड़े तो मदद के लिए चिल्लाएं.
12- अगर आप ऐसी स्थिति में हैं कि मदद नहीं मिल सकती तो चिल्लाएं और भीड़-भाड़ वाले इलाके की तरफ भागें.
13- हम साथ मिलकर अपराध से लड़ सकते हैं. बुरे लोगों के बारे में लोकल पुलिस थाने में शिकायत करें.
14- अगर आप किसी तस्वीर को वेरिफिकेशन के लिए भेजना चाहते हैं तो 9490616555 पर वास्ट्सऐप करें.
आग बबूला हुआ ट्विटर
- एक ट्विटर यूजर शैलजा त्रिपाठी लिखती हैं- 'वह लिखी बातों के हिसाब से सब कुछ कर रही थी. हर वो चीज जो हम सुरक्षित रहने के लिए करते हैं. वह बहुत देर रात तक भी बाहर नहीं थी. उसने कपड़े भी ठीक से पहने थे. वह नशे में भी नहीं थी. उसने किसी से लड़ाई-झगड़ा भी नहीं किया. ये पुलिस फोर्स है, जिसे थोड़ी ट्रेनिंग और एडवाइजरी की जरूरत है.'
- एक अन्य यूजर ने लिखा है- 'हां, रेप रोकने के लिए महिलाओं के लिए एडवाइजरी. क्या महिलाओं को खुद को अपने घरों में कैद कर लेना चाहिए? ऐसा भी कर लें तो भी वह सुरक्षित नहीं हैं. परिवार वालों की तरफ से ही अपराध करने के मामले भी कम नहीं हैं. तो क्या हमें जीना ही छोड़ देना चाहिए..? यही आसान रहेगा?'
- एक यूजर ने कहा है कि इस तरह से पुलिस बस अपना पल्ला झाड़ रही है. ऐसी एडवाइजरी जारी कर के वह ये दिखाना चाहती है कि इसके बाद से अगर कुछ होता है तो उसके लिए पुलिस जिम्मेदार नहीं होगी. पुलिस एडवाइजरी जारी कर रही है, बजाय पुलिस पेट्रोलिंग बढ़ाने के.
- ट्विटर पर लोगों का गुस्सा यहीं नहीं रुका है. एक यूजर ने लिखा है- 'हैदराबाद पुलिस ने सिर्फ महिलाओं के लिए एडवाइजरी जारी की है, पुरुषों के लिए क्यों नहीं? उन्हें भी अपने परिवार और दोस्तों को अपने गंदे इरादों के बारे में बताना चाहिए, वो लोकेशन शेयर करनी चाहिए, जहां पहुंच कर उनके दिमाग में गंदे ख्याल आते हैं, आसानी से जिसका रेप किया जा सके उनसे दूर रहना चाहिए.'
हैदराबाद पुलिस की एडवाइजरी के बाद अब उनकी खूब फजीहत हो रही है. इस एडवाइजरी में एक दो बातों को छोड़कर बाकी सारी बातें फाल्तू ही हैं, क्योंकि वो हर कोई जानते हैं. सब जानते हैं कि अकेले सुनसान इलाकों में नहीं जाना है, अनजान के साथ नहीं जाना है, पुलिस से मदद मांगनी है. अरे हां, पुलिस से याद आया, ये मदद मिलेगी कितनी देर में ये भी तय होना चाहिए. ये वही पुलिस है, जिसके पास अगर एक मोबाइल तक चोरी होने की शिकायत लिखवाने जाओ तो लंबा इंतजार करना पड़ता है. कई बार तो सीधे-सीधे कह दिया जाता है कि ये हमारे थाने का मामला नहीं है, फलानी जगह जाइए. अब ऐसी पुलिस से क्या उम्मीद की जा सकती है? 100 नंबर तो डायल करें, लेकिन मदद की अपेक्षा कैसे करें?
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