New

होम -> सियासत

बड़ा आर्टिकल  |  
Updated: 03 अक्टूबर, 2019 12:22 PM
बिलाल एम जाफ़री
बिलाल एम जाफ़री
  @bilal.jafri.7
  • Total Shares

मोहनदास करमचंद गांधी, वो व्यक्ति जिसे लेकर अपनी सुचिता के अनुसार लोगों ने इतिहास को बांट दिया. यानी जिसे गांधी और उनके विचार पसंद थे, उनके लिए नेक या अच्छा व्यक्ति होने की पराकाष्ठा गांधी होना था. जबकि वो, जिन्हें गांधी फूटी आंख भी नहीं सुहाते हैं, उनकी नजरों में गांधी किसी विलेन की तरह हैं. जो अगर चाहता तो 47 में देश का बंटवारा बड़ी ही आसानी के साथ रोका जा सकता था. 2 अक्टूबर 1869 को गुजरात के पोरबंदर में जन्में गांधी की 150वीं जयंती है. गांधी के जन्मदिन को लेकर देश भर में अलग अलग कार्यक्रम हो रहे हैं और इन कार्यक्रमों में भी सबसे दिलचस्प है गांधी के प्रति भाजपा और देश के प्रधानमंत्री मोदी का रवैया देखना. जिस तरह भाजपा और पीएम मोदी, महात्मा गांधी को अपना बना रहे हैं वो किसी और के लिए परेशानी का सबब बने न बने लेकिन कांग्रेस और राहुल गांधी को जरूर इसपर फिक्रमंद होना चाहिए. वर्तमान में जैसा नजरिया भाजपा और पीएम मोदी का महात्मा गांधी पर है साफ़ बता चल रहा है कि गांधी को हाईजैक करके पीएम मोदी ने कांग्रेस और राहुल गांधी से उनका गुरूर ही छीन लिया है.

नरेंद्र मोदी, भाजपा, महात्मा गांधी, कांग्रेस, राहुल गांधी  जिस तरह पीएम मोदी गांधी को कैश कर रहे हैं उससे कांग्रेस को सचेत हो जाना चाहिए

गांधी जयंती के उपलक्ष में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राजघाट पहुंचकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित की है. इस अवसर पर प्रधानमंत्री के साथ लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला भी मौजूद थे.

बताया जा रहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज अहमदाबाद के साबरमती आश्रम जाएंगे, जहां पर वह देश को खुले में शौच से मुक्त घोषित करेंगे. इस दौरान पीएम मोदी के साथ 20 हजार से अधिक गांवों के सरपंच मौजूद रहेंगे.

इसके अलावा यदि हम प्रधानमंत्री मोदी के ट्वीट का भी अवलोकन करें तो मिल रहा है कि देश के पीएम ने गांधी को अपना बनाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी है. प्रधानमंत्री मोदी ने अपने ट्वीट में लिखा है कि,'राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को उनकी 150वीं जन्म-जयंती पर शत-शत नमन. साथ ही उन्होंने ये भी बताया है की 150 साल पहले जन्में गांधी ने किस तरह मानवता की मिसाल पर लोगों की सेवा की.

वहीं बात अगर कांग्रेस की हो तो जैसे भाजपा ने महात्मा गांधी पर कब्ज़ा किया है कांग्रेस के खेमे में छटपटाहट साफ़ दिखाई दे रही है. कांग्रेस के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर यदि नजर डाली जाए तो मिलता है कि कहीं महात्मा गांधी हाथ से निकल न जाएं कांग्रेस के ट्विटर अकाउंट पर गांधी ही गांधी छाए हुए हैं.

बात भाजपा और कांग्रेस की चले और आरोप प्रत्यारोप की राजनीति न हो ऐसा मुमकिन नहीं है. बीते 5 सालों में जैसे हालात मुल्क के हुए हैं उसपर कांग्रेस ने गहरी चिंता जाहिर की है और अपनी कुशल राजनीति का परिचय देते हुए एक कविता के जरिये इसे ट्वीट किया है.

अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर कांग्रेस ने उन तस्वीरों को भी साझा किया है जिसमें गांधी के विचारों को जन जन तक पहुंचाने के लिए कांग्रेस पार्टी ने संदेश यात्रा निकाली है. बताया जा रहा है कि इस सन्देश यात्रा के जरिये कांग्रेस महात्मा गांधी के उन संदेशों का प्रचार प्रसार करना चाहती है जिनका उद्देश्य लोगों में सेवा भाव लाना है.

कहावत है कि अकेला चना भाड़ नहीं फोड़ सकता. कुछ ऐसा ही हाल कांग्रेस का भी है. यदि पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की ट्विटर टाइम लाइन को देखा जाए तो मिलता है कि वो राहुल गांधी जो छोटी से छोटी बात के लिए एक के बाद एक कई ट्वीट करने के लिए जाने जाते हैं, ने महात्मा गांधी के जन्म दिन पर एक ट्वीट किया है. यानी अगर दूसरे शब्दों में कहा जाए तो एक ऐसे वक़्त में जब भाजपा महात्मा गांधी के लिए खासी गंभीर हो राहुल गांधी का सिंगल ट्वीट करना जिम्मेदारी पूरी करने से ज्यादा कुछ नहीं है.

बात बिलकुल सीधी और एकदम साफ़ है. गांधी को हमेशा ही कांग्रेस और कांग्रेस के लोगों ने अपने गुरूर की तरह माना है. ऐसे में देश के प्रधानमंत्री का उनके जन्मदिन को इतना भव्य बनाना. खुद में इस बात की तस्दीख करता नजर आ रहा है कि अब भाजपा ने कांग्रेस के उन बिन्दुओं पर चोट करनी शुरू कर दी है जो कांग्रेस के अस्तित्व से जुड़ा है. 2014 से लेकर 19 तक कई ऐसे मौके आए हैं जब भाजपा और पीएम मोदी ने कांग्रेस मुक्त भारत की बात की है ऐसे में मोदी की इस चाल को देखकर यही कहा जा सकता है उनका महात्मा गांधी से जुड़ी चीजों को भव्य बनाना कांग्रेस को इस देश से ख़त्म करने की दिशा में प्लान बी है.

नरेंद्र मोदी, भाजपा, महात्मा गांधी, कांग्रेस, राहुल गांधी  गांधी पर किसका हक है इसे लेकर भाजपा और कांग्रेस दोनों ही मैदान में आ गए हैं

क्योंकि बात कांग्रेस के सन्दर्भ में हो रही है तो हमारे लिए ये बताना भी बहुत जरूरी है कि अब तक भारत के अंतर्गत कांग्रेस ने केवल गांधी के नाम को इनकैश किया है. कह सकते हैं कि कांग्रेस की नजर में गांधी केवल योजनाओं के नाम है जिसके दम पर उसने राजनीति तो खूब की मगर जब बात उसे समझने की आई तो उसने, उसे सिरे से खारिज कर दिया. बाकी बात अगर भाजपा और पीएम मोदी की हो तो ये वाकई दिलचस्प है कि भाजपा गांधी के स्वच्छता, अहिंसा और स्वदेशी के विचारों का तो प्रचार प्रसार करना चाहती है. मगर बात जब हिंदू मुस्लिम एकता की आती है तो वो उससे किनारा कर लेती है, जो उनके विचारों का मूल था.

गांधी पहले ऐसे भारतीय थे जो भारत को वैश्विक नक़्शे पर लाए और अकेले ऐसे भारतीय है जिसे पूरी दुनिया जानती है. वे पहले ऐसे भारतीय थे जिन्होंने भारत से पहले भारत के बाहर अपनी राजनितिक छाप छोड़ी. वे भारत के इतिहास में लोगों को अपने पीछे गोलबंद करने वाले नेता रहे हैं. शायद कांग्रेस और राहुल गांधी इस बात को समझ नहीं रहे हैं. मोदी और भाजपा ने इस बात को समझा है. मोदी जानते हैं कि जिस आदमी के अंदर लाखों आदमियों खासकर औरतों को सार्वजानिक जीवन में लाने का गुण था. वो शख्स जिसका एक चौथाई सदी तक भारतीय राजनीति में बोलबाला रहा हो. अगर वो उसे कैश कर ले जाते हैं तो तमाम नाकामियों के बावजूद भारतीय राजनीति में एक यादगार नेता के रूप में जाने जाएंगे.

कह सकते हैं कि वर्तमान में गांधी को नकार कर या फिर उन्हें एक दिन का मोहताज बनाकर कांग्रेस ने अपनी राजनितिक आत्महत्या कर ली है. अब वक़्त कब्र बनाने का है. जैसा रुख वर्तमान में गांधी के प्रति पीएम मोदी का है उससे ये बात खुद-ब-खुद स्पष्ट हो जाती है कि उन्होंने कांग्रेस की कब्र तैयार कर ली है और यदि यही रवैया कांग्रेस सका रहा तो वो दिन दूर नहीं जब पूरी कांग्रेस पार्टी भाजपा और पीएम मोदी द्वारा बनाई इस कब्र में समाहित हो जाएगी और तब बस कांग्रेस देश के इतिहास में बस एक पार्टी के रूप में याद की जाएगी.

ये भी पढ़ें -

गांधीजी ना होते तो हमारा देश एक बड़े और कारगर हथियार से वंचित रह जाता !

Father of India और Father of nation में फर्क जानना जरूरी है

लेखक

बिलाल एम जाफ़री बिलाल एम जाफ़री @bilal.jafri.7

लेखक इंडिया टुडे डिजिटल में पत्रकार हैं.

iChowk का खास कंटेंट पाने के लिए फेसबुक पर लाइक करें.

आपकी राय