नेशन वांट्स टू नो: अर्नब गोस्वामी का इस्तीफा क्यों?
पिछले 10 साल से टाइम्स नाऊ से जुड़े हुए अर्नब गोस्वामी ने साफ तौर पर कहा है कि वह टीवी समाचार की दुनिया को छोड़ने वाले नहीं हैं.
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अंग्रेजी समाचार टीवी चैनल टाइम्स नाऊ के सनसनी फैलाने वाले एडिटर इन चीफ अर्नब गोस्वामी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. बताया जा रहा है कि उन्होंने अपना इस्तीफा संपादकीय बैठक के दौरान दिया. अर्नब गोस्वामी पिछले 10 साल से टाइम्स नाऊ से जुड़े हुए थे. इससे पहले वह एनडीटीवी में भी काम कर चुके हैं.
'अभी तो खेल शुरू हुआ है' |
आगे क्या?
अर्नब गोस्वामी ने अपने इस्तीफे का ऐलान मंगलवार को समूह के मुंबई कार्यालय में संपादकीय टीम की बैठक में किया. इस दौरान अन्य ब्यूरो की संपादकीय टीम वीडियो कांफ्रेंसिंग में गोस्वामी ने साफ तौर पर कहा है कि वह टीवी समाचार की दुनिया को छोड़ने वाले नहीं हैं. उन्होंने लगभग एक घंटे के अपने संबोधन में कई बार यह दोहराया कि 'अभी तो खेल शुरू हुआ है'. ज़ाहिर है कि वे कोई नया वेंचर शुरू करेंगे.
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अटकलें ये लगायी जा रही है की अर्नब भाजपा सरकार के शीर्ष कॉरपोरेट घरानों के समर्थन के साथ अपना चैनल लांच कर सकते हैं. अपुष्ट खबरों के अनुसार वे सांसद और व्यापारी राजीव चंद्रशेखर के साथ मीडिया वेंचर शुरू करने जा रहे हैं. सूत्रों के अनुसार उनका नया प्रोजेक्ट बीबीसी और सीएनएन के लिए कड़ी चुनौती साबित होगा.
भाजपा मायूस: आप खुश: इस्तीफे पर टि्वटर पर लोगों ने ऐसे दी प्रतिक्रिया
अर्नब गोस्वामी के टाइम्स नाऊ छोड़ने के फैसले के बाद सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया की बाढ़ आ गई. उनके इस फैसले पर मिलीजुली प्रतिक्रिया देखने को मिली. ज्यादातर ट्विटर यूजर्स का यही पूछना है कि अब अर्नब गोस्वामी कहां जाएंगे? साथ ही पूछ रहे हैं कि अब टाइम्स नाऊ का चेहरा कौन होगा? कई यूजर्स ने अर्नब के इस्तीफे को उनके प्रतिद्वंदियों के लिए राहत की खबर बताई. एक यूजर ने लिखा कि वह चाहता है कि अर्नब एनडीटीवी पर बरखा दत्त की जगह ले लें. कई यूजर्स ने लिखा है कि इस फैसले से आप और कांग्रेसी जैसी पार्टियों के खेमों में खुशी का माहौल है. वहीं भाजपा के खेमे में दुख व निराशा का माहौल है.
अर्नब को मिली थी धमकी
बीते दिनों खबर आई थी कि आतंकियों द्वारा अर्नब को धमकी मिलने के बाद सरकार के द्वारा उन्हें Y श्रेणी की सुरक्षा प्रदान किया जायेगा. लगभग एक हफ्ते के बाद अर्नब गोस्वामी अपनी चुप्पी तोड़ते हुए इसे नकार दिया था.
पिछले 10 साल से टाइम्स नाऊ से जुड़े हुए थे अरनब |
अर्नब का करियर
अर्नब गोस्वामी ने अपना करियर 1995 में कोलकाता स्थित दैनिक द टेलीग्राफ से शुरू किया था. लेकिन उन्होंने वो टेलीग्राफ में ज्यादा दिन नहीं रहे और उसी साल दिल्ली स्थित एनडीटीवी से जुड़ गए. जब 1998 में एनडीटीवी स्वतंत्र टीवी चैनल के तौर पर लॉन्च हुआ तो वो चैनल में प्रोग्राम प्रोड्यूसर के तौर पर जुड़े. एनडीटीवी पर वो न्यूज आवर कार्यक्रम लेकर आते थे. उन्होंने 2003 तक इस कार्यक्रम के लिए एंकरिंग की. गोस्वामी ने 2006 में टाइम्स नाऊ के एडिटर इन चीफ बनकर चले गए तभी से वो चैनल की प्राइम टाइम डिबेट द न्यूजआवर को होस्ट कर रहे थे
अर्नब गोस्वामी असम के रहने वाले हैं और इनके पिता सेना में अधिकारी हैं. सेंटमेरी स्कूल, दिल्ली से अर्नब ने 10 वीं की परीक्षा पास की. इसके बाद 12 वीं तक उन्होंने केंद्रीय विद्यालय जबलपुर में पढ़ाई की. उन्होंने हिन्दू कॉलेज, दिल्ली विश्वविद्यालय से समाजशास्त्र में स्नातक किया. इसके बाद ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से मानवशास्त्र में परास्नातक किया.
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आलोचनाएं भी झेलनी पड़ी
अर्नब की आलोचना शो में चिल्लाने और बहुत जल्दी आपा खो देने के लिए भी होती रही है. कई लोग कहते हैं कि वे अपने शो का एजेंडा सेट करके बैठते हैं और उसके इर्द-गिर्द ही बातें करते हैं. ऐसा भी कहा जाता रहा है कि वह अपने मेहमानों को बोलने का मौका ही नहीं देते. हाल में उन पर सरकार और भाजपा का समर्थन करने का आरोप भी लगा.
अर्नब देश के पहले पत्रकार थे, जिन्होंने सबसे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का इंटरव्यू लिया था. हालांकि उन पर पीएम से काफी नरम सवाल पूछे जाने के आरोप लगे थे. इसके लिए उनकी काफी आलोचना भी हुई थी.
अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि नेशन तक आवाज़ पहुंचानेवाले अर्नब गोस्वामी कब और कहां अपनी अगली पारी की शुरआत करेंगे. हमें और देश की जनता को फिर से उनकी आवाज़ सुनने का इंतज़ार है.
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