एलन मस्क ताजे ताजे बॉस क्या हुए, पूरे ट्विटर की लंका लगी हुई है. आधा घंटा बीतता नहीं है ट्विटर पर एक नए हैश टैग की शुरुआत हो जाती है.जैसी ख़बरें विदेश से आ रही हैं, बताया यही जा रहा है कि बिना भाई की मर्जी के कंपनी में एक पत्ता भी नहीं हिल रहा. पहले ले ऑफ फिर वर्क प्रेशर के चलते बचे कुचे कर्मचारियों के इस्तीफे मस्क के लिए एक अलग मुसीबत बन गए हैं. वहीं बात आम से लेकर खास लोगों की करें तो उन्होंने भी बगावत का बिगुल फूंकते हुए एक से बढ़कर एक अतरंगे ट्वीट करने शुरू कर दिए हैं. क्रांतिकारी चाहे वो फ्रेशर हों या फिर एक्सपीरियंस वाले. जैसे ट्वीट वो मस्क की तानाशाही को लेकर कर रहे हैं, चिंता भी होती है और हंसते -हंसते पेट में बल भी पड़ता है. मस्क के तुगलकी रवैये से लोग किस हद तक आहत, किस लेवल पर नाराज हैं इसका अंदाजा अगर लगाना हो तो ट्विटर पर जंगल में लगी आग की तरह ट्रेंड हो रहे #RIPTwitter का रुख कर लीजिये.
इस हैश टैग में तमाम यूजर्स ऐसे मिलेंगे जो प्रमुख्ता से इस बात पर बल दे रहे हैं कि भइया इस पैसे वाले मस्क और इसकी करतूतों को देखकर अब तो इंसानियत से भरोसा उठ चुका है. अब और नहीं रहना इस मुए ट्विटर पर, नहीं करना देश दुनिया की बातों को मुद्दा बनाकर ट्वीट. वहीं बात अगर ट्विटर के नए मालिक एलन मस्क की हो तो भाई भी मौज लेने का कोई बहाना नहीं छोड़ रहा. मूल तो मूल सूद ऐसा वसूल रहा है कि लोगों को छठी का दूध याद आ जा रहा है.
#RIPTwitter ट्विटर के टॉप ट्रेंड्स में है और ट्विटर छोड़ने की बात कहने वाले मस्क पर आरोप यहीं लगा रहे हैं कि...
एलन मस्क ताजे ताजे बॉस क्या हुए, पूरे ट्विटर की लंका लगी हुई है. आधा घंटा बीतता नहीं है ट्विटर पर एक नए हैश टैग की शुरुआत हो जाती है.जैसी ख़बरें विदेश से आ रही हैं, बताया यही जा रहा है कि बिना भाई की मर्जी के कंपनी में एक पत्ता भी नहीं हिल रहा. पहले ले ऑफ फिर वर्क प्रेशर के चलते बचे कुचे कर्मचारियों के इस्तीफे मस्क के लिए एक अलग मुसीबत बन गए हैं. वहीं बात आम से लेकर खास लोगों की करें तो उन्होंने भी बगावत का बिगुल फूंकते हुए एक से बढ़कर एक अतरंगे ट्वीट करने शुरू कर दिए हैं. क्रांतिकारी चाहे वो फ्रेशर हों या फिर एक्सपीरियंस वाले. जैसे ट्वीट वो मस्क की तानाशाही को लेकर कर रहे हैं, चिंता भी होती है और हंसते -हंसते पेट में बल भी पड़ता है. मस्क के तुगलकी रवैये से लोग किस हद तक आहत, किस लेवल पर नाराज हैं इसका अंदाजा अगर लगाना हो तो ट्विटर पर जंगल में लगी आग की तरह ट्रेंड हो रहे #RIPTwitter का रुख कर लीजिये.
इस हैश टैग में तमाम यूजर्स ऐसे मिलेंगे जो प्रमुख्ता से इस बात पर बल दे रहे हैं कि भइया इस पैसे वाले मस्क और इसकी करतूतों को देखकर अब तो इंसानियत से भरोसा उठ चुका है. अब और नहीं रहना इस मुए ट्विटर पर, नहीं करना देश दुनिया की बातों को मुद्दा बनाकर ट्वीट. वहीं बात अगर ट्विटर के नए मालिक एलन मस्क की हो तो भाई भी मौज लेने का कोई बहाना नहीं छोड़ रहा. मूल तो मूल सूद ऐसा वसूल रहा है कि लोगों को छठी का दूध याद आ जा रहा है.
#RIPTwitter ट्विटर के टॉप ट्रेंड्स में है और ट्विटर छोड़ने की बात कहने वाले मस्क पर आरोप यहीं लगा रहे हैं कि वो और कुछ नहीं बस अपने फरमानों से ट्विटर की हत्या कर रहे हैं. लोग तो ये तक कह रहे हैं कि अगर कल की डेट में ट्विटर नाम की चीज इतिहास के पन्नों में दर्ज हो जाए तो इसके जिम्मेदार और कोई नहीं बल्कि स्वयं एलन मस्क हैं.
वाक़ई हैरत होती है लोगों का रवैया देखकर. लोग आखिर इस बात को क्यों नहीं समझ रहे कि एलन अब कंपनी के मालिक हैं. उन्होंने इसपर मोटा पैसा लगाया है. वो अगर सबको निकाल दें और अगले ही दिन नयी भर्ती का ट्वीट कर दें तो आवेदन करने वाले लोगों की संख्या दोगुनी होगी. वहीं इस पूरी कहानी में जो सबसे रोचक पक्ष है वो ये कि लोग ट्विटर को ट्विटर पर ही कोस रहे हैं.
विषय बहुत सीधा है. बात तो तब थी कि लोग ट्विटर को और मस्क को कोसते मगर किसी और जगह पर. लेकिन हाय ये लोगों का दोहरा चरित्र! उफ़ उनकी ये मासूमियत.
लोग इस बात को भी समझें कि मास्क व्यापारी आदमी हैं. क्वालिटी पर फोकस करने वाले इसलिए जिन चीजों को पहले वाले लोगों ने हल्के में लिया था उनके प्रति मस्क गंभीर हैं. ऐसे में लोगों का उनका विरोध करना और ट्विटर पर #RIPTwitter के हैश टैग चलाना उनकी नाकामी का परिचय दे देता है.
चाहे मस्क के हों या फिर ट्विटर के विरोधी इनका जो रवैया है ये हमें भारत के उन क्रांतिकारियों की याद दिलाता है जिन्होंने फ्री डेटा के लिए जियो का सिम खरीदा. कागज जमा करके ख़रीदा. लाइन में लग लग कर, दफ्तर से छुट्टी लेकर ख़रीदा उन्होंने काम हो जाने के बाद अंबानी को तबियत से कोसा. सवाल ये है कि क्या अंबानी इनके पास गए थे कि आओ भइया सिम बंट रहा है उसे ले लो. नहीं ये लोग स्वयं गए थे और ठीक वैसे ही गए थे जैसे वो लोग जिन्होंने पहले तो ट्विटर पर जमकर मजे लिए फिर जब मस्क ने नकेल कसी तो RIPTwitter का ट्रेंड चला दिया.
कुल मिलाकर मॉरल ऑफ द स्टोरी बस इतना है कि आदमी को स्वार्थी नहीं होना चाहिए और अगर आदमी स्वार्थी हो भी जाए तो उसे ऐसे ट्वीट करने या इस तरह के हैश टॉग चलाने से पहले थोड़ा सोच समझ लेना चाहिए.
इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.