'आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान' से CM योगी ने भंवर में फंसी कश्ती निकाल ली है!
आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान (Atmanirbhar Uttar Pradesh Rojgar Abhiyan) के जरिये अपने अपने घरों को लौटे प्रवासी कामगारों (Migrant Workers ) के लिए रोजगार (Employment) की पहल करके यूपी (UP) के सीएम योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने बता दिया है कि अगर व्यक्ति चाह ले तो जटिल परिस्थितियों को आसान बना सकता है.
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दिल्ली (Delhi), महाराष्ट्र (Maharashtra), बिहार (Bihar) समेत अन्य राज्य जहां एक तरफ कोरोना (Coronavirus) को लेकर राज्य बनाम केंद्र की राजनीति में अपनी सारी ऊर्जा नष्ट कर रहे हैं उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में बीमारी के बाद आई चुनौतियों पर काबिल ए तारीफ काम हुआ है. सरकार उन प्रवासी मजदूरों (Migrant Workers) के लिए न सिर्फ चिंतित है. बल्कि उनके पुनर्वास के भी प्रबंध कर लिए हैं जो पलायन के नाम पर उत्तर प्रदेश लौटे थे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने वीडियो कांफ्रेंस के जरिये 'आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार कार्यक्रम' (Atmanirbhar Uttar Pradesh Rojgar Abhiyan) लांच किया है. मौके पर यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) भी मौजूद थे बताया जा रहा है कि इस अभियान के माध्यम से उत्तर प्रदेश में बड़ी संख्या में कामगारों का अलग-अलग परियोजनाओं में नियोजन होगा.
आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान का उद्घाटन करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
ध्यान रहे कि कोरोना वायरस के चलते हुए लॉक डाउन का सबसे बुरा असर प्रवासी मजदूरों को हुआ. रोटी का संकट वो अहम कारण था जिसके चलते हजारों मजदूरों को वापस अपने घरों की तरफ लौटना पड़ा. अलग-अलग राज्यों में कमाने गए मजदूरों का इस तरह अपने गृह राज्यों की तरफ वापस लौटना राज्य सरकारों के लिए भी अच्छा नहीं था. सरकार के सामने एक बड़ी चुनौती वापस लौटे इन मजदूरों का हला भला करना और इन्हें एडजस्ट करना था. चूंकि मुश्किल दौर में अपने घरों को लौटे इन मजदूरों को रोजगार देने की ये पहल उत्तर प्रदेश से हुई है, तो वाक़ई इसके लिए सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ बधाई के पात्र हैं.
क्या है आत्मनिर्भर यूपी रोजगार अभियान
बता दें कि यूपी में करीब 30 लाख प्रवासी कामगार वापस आए हैं. यदि आंकड़ों की मानें तो राज्य के 31 जिलों में वापस लौटने वाले श्रमिकों-कामगारों की संख्या 25,000 से अधिक है. साथ ही इनमें उत्तर प्रदेश के वो 5 जिले भी शामिल हैं जो तेजी से उभर रहे हैं.आत्म निर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान, उत्तर प्रदेश सरकार और केंद्र सरकार की साझी पहल है जिसके अंतर्गत उद्योग जगत और अन्य संस्थाओं की भागीदारी है.
LIVE: PM Shri @narendramodi launches Aatmanirbhar Bharat Rojgar Yojana in Uttar Pradesh. https://t.co/Ssgya15JBq
— BJP (@BJP4India) June 26, 2020
आत्म निर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान का मुख्य उद्देश्य रोजगार प्रदान करने, स्थानीय स्तर पर उद्यमिता को बढ़ावा देने और रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए औद्योगिक संगठनों और अन्य संस्थानों को एक साथ जोड़ना है.
मुझे पूरा विश्वास है कि योगी जी के नेतृत्व में, जिस तरह आपदा को अवसर में बदला गया है, जिस तरह वो जी-जान से जुटे हैं, देश के अन्य राज्यों को भी इस योजना से बहुत कुछ सीखने को मिलेगा, वो भी इससे प्रेरणा पाएंगे: पीएम @narendramodi pic.twitter.com/EnkGxB2S0R
— BJP (@BJP4India) June 26, 2020
गौरतलब है कि आज प्रवासी और ग्रामीण श्रमिकों/कामगारों को मूलभूत आवश्यकता की वस्तुएं और आजीविका के साधन उपलब्ध कराने की चुनौती आ खड़ी हुई है और इसी को देखते हुए भारत सरकार ने अलग-अलग सेक्टरों को मजबूती देने के लिए ‘आत्मनिर्भर भारत पैकेज’ की घोषणा की थी.
इस मौके पर अपनी बात रखते हुए सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने कहा कि राज्य में वापस आए प्रवासी मजदूरों को होम क्वारंटीन में रखा जा रहा है, क्वारंटीन अवधि खत्म होने के बाद मजदूरों के लिए पर्याप्त संख्या में नौकरी देने के लिए योजना तैयार की गई है. इसके लिए इन श्रमिकों की स्किल मैपिंग की गई है. इस योजना में इन वापस लौटे हुए मजदूरों को रोजगार देने, स्थानीय बिजनेस को प्रमोट करने और औद्योगिक संस्थानों के साथ पार्टनरशिप कर रोजगार के अवसर बढ़ाने का लक्ष्य है.
कार्यक्रम में देश प्रधानमंत्री छोटे उद्यमियों से भी मुखातिब हुए. पीएम मोदी ने कहा कि देश की सभी सरकारों को इन्हीं लोगों से सीखना चाहिए. इन लोगों ने आपत्ति को अवसर में बदला है और हमें भी यही करना है. स्वरोजगार पर निर्भर इन लोगों की तारीफ करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि 'जो लोग छोटे से शुरू करते हैं, वहीं बड़ा काम करते हैं. वो ही लोग आगे बढ़ते हैं, जिनको विरासत में मिलता है, वो कभी-कभी लुढ़क जाते हैं.'
इस दौरान पीएम ने मजदूरों की महत्ता पर बात करते हुए कहा कि 'श्रम की ताकत हम सभी ने महसूस की है. श्रम की इसी ताकत का आधार बना, भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया गरीब कल्याण रोजगार अभियान. आज इसी शक्ति ने आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान को प्रेरणा दी. योगी सरकार ने न सिर्फ इसमें अनेक नई योजनाएं जोड़ी हैं, लाभार्थियों की संख्या बढ़ाई है बल्कि इसे आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य के साथ भी पूरी तरह से जोड़ दिया है.'
बहरहाल अब जबकि ये योजना उत्तर प्रदेश में लांच हुई है इसके लिए सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ की तारीफ इसलिए भी होनी चाहिए क्यों कि उन्होंने आपदा को सिर दर्दी नहीं बल्कि अवसर माना और बताया कि यदि इंसान चाह ले तो बीच भंवर में फंसी कश्ती भी निकाल सकता है. निश्चित ही कोरोना की जटिलताएं बड़ी हैं ऐसे में जिस सूझ बूझ का परिचय योगी आदित्यनाथ ने दिया है साफ हो जाता है कि उत्तर प्रदेश विकास के मार्ग पर कदम से कदम मिलाकर चलने के लिए पूरी तरह तैयार है.
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