54 साल की मशहूर अदाकारा श्रीदेवी दुनिया को अलविदा कह चुकी हैं. अपने आखिरी समय में श्रीदेवी, अपनी बेटी जाह्नवी कपूर से हजारों किलोमीटर दूर थीं. एक मां और बेटी का रिश्ता बेहद खास होता है. इस बात में कोई संदेह नहीं है कि जब भी जाह्नवी अपनी मां की मृत्यु के क्षणों को याद करेंगी उनकी आंखें खुद ब खुद नम हो जाएंगी और आंसू छलक पड़ेंगे. बताया जाता है कि जाह्नवी अपनी मां को बहुत प्यार करती थीं और उनमें ही उनकी दुनिया बसती थी.
जाह्नवी और श्रीदेवी का रिश्ता कितना मजबूत था, इस बात का अंदाजा उस चिट्ठी को देखकर लग जाता है जो इस समय जाह्नवी कपूर के इंस्टाग्राम अकाउंट पर मौजूद है और पूरे सोशल मिदा पर वायरल हो रही है. जाह्नवी कपूर द्वारा मां श्रीदेवी के लिए इंस्टाग्राम पर लिखी इस चिट्ठी को पढ़कर साफ हो जाता है कि, श्रीदेवी न सिर्फ एक लोकप्रिय और सशक्त महिला थीं. बल्कि एक बेहद प्यार करने वाली मां भी थीं.
जाह्नवी द्वारा सोशल मीडिया पर पोस्ट की गयी इस चिट्ठी को पढ़कर मिलता है कि श्रीदेवी बेटी जाह्नवी और खुशी के बेहद करीब थीं और एक मां से ज्यादा वो उनकी दोस्त थीं. एक ऐसा दोस्त जिसने उन्हें हर वो खुशी दी जो उन्होंने चाही और हर मुश्किल परिस्थितियों में उनकी मदद की.
अपनी चिट्ठी में जाह्नवी ने लिखा है कि "मेरे दिल में एक अजीब सी बेचैनी है. मगर मैं जानती हूं कि आगे मुझे इसी के साथ जीना पड़ेगा. इस अकेलेपन के साथ भी मैं आपके प्यार को महसूस करती हूं. मैं ये महसूस कर सकती हूं कि आप मुझे इस दुख और दर्द से बचा रही हैं. हर बार जब भी...
54 साल की मशहूर अदाकारा श्रीदेवी दुनिया को अलविदा कह चुकी हैं. अपने आखिरी समय में श्रीदेवी, अपनी बेटी जाह्नवी कपूर से हजारों किलोमीटर दूर थीं. एक मां और बेटी का रिश्ता बेहद खास होता है. इस बात में कोई संदेह नहीं है कि जब भी जाह्नवी अपनी मां की मृत्यु के क्षणों को याद करेंगी उनकी आंखें खुद ब खुद नम हो जाएंगी और आंसू छलक पड़ेंगे. बताया जाता है कि जाह्नवी अपनी मां को बहुत प्यार करती थीं और उनमें ही उनकी दुनिया बसती थी.
जाह्नवी और श्रीदेवी का रिश्ता कितना मजबूत था, इस बात का अंदाजा उस चिट्ठी को देखकर लग जाता है जो इस समय जाह्नवी कपूर के इंस्टाग्राम अकाउंट पर मौजूद है और पूरे सोशल मिदा पर वायरल हो रही है. जाह्नवी कपूर द्वारा मां श्रीदेवी के लिए इंस्टाग्राम पर लिखी इस चिट्ठी को पढ़कर साफ हो जाता है कि, श्रीदेवी न सिर्फ एक लोकप्रिय और सशक्त महिला थीं. बल्कि एक बेहद प्यार करने वाली मां भी थीं.
जाह्नवी द्वारा सोशल मीडिया पर पोस्ट की गयी इस चिट्ठी को पढ़कर मिलता है कि श्रीदेवी बेटी जाह्नवी और खुशी के बेहद करीब थीं और एक मां से ज्यादा वो उनकी दोस्त थीं. एक ऐसा दोस्त जिसने उन्हें हर वो खुशी दी जो उन्होंने चाही और हर मुश्किल परिस्थितियों में उनकी मदद की.
अपनी चिट्ठी में जाह्नवी ने लिखा है कि "मेरे दिल में एक अजीब सी बेचैनी है. मगर मैं जानती हूं कि आगे मुझे इसी के साथ जीना पड़ेगा. इस अकेलेपन के साथ भी मैं आपके प्यार को महसूस करती हूं. मैं ये महसूस कर सकती हूं कि आप मुझे इस दुख और दर्द से बचा रही हैं. हर बार जब भी मैं अपनी आंखें बंद करती हूं तो मेरे पास याद करने के लिए वो पल ही होते हैं जो मैंने आपके साथ बिताए थे. मैं जानती हूं, वो आप ही हैं जो ये सब कर रही हैं. आप हमारे जीवन में एक आशीर्वाद की तरह थी. ये हमारी खुशनसीबी थी कि हम आपके साथ रहे. लेकिन आप इस दुनिया के लिए नहीं थी क्योंकि आप बहुत ही अच्छी, नेक दिलवाली और प्यार से भरी हुई थीं. इसलिए भगवान ने आपको वापस बुला लिया. लेकिन ये भी सच है कि हमने आपके साथ वक्त बिताया है.
मेरे दोस्त अक्सर ये कहते थे कि, मैं खुश रहती हूं और अब मैं समझ सकती हूं कि ये सब आपकी वजह से मुमकिन था. जब भी कोई कुछ कह देता तो उससे मुझे फर्क नहीं पड़ता था. आपके रहते कोई भी मुश्किल मुझे बड़ी नहीं लगती थी और मैं कभी उदास भी नहीं होती थी. आप मुझसे प्रेम करती थीं और यही वजह भी है कि इस चीज के अलावा मुझे किसी और चीज की जरूरत नहीं पड़ी क्योंकि मुझे सिर्फ आप चाहिए थीं. आप मेरी आत्मा का एक हिस्सा हैं. आप अपनी पूरी जिंदगी हमें सिर्फ देती रहीं और यही मैं आपके लिए करना चाहती थीं मम्मा.
मैं चाहती हूं कि आपको मेरे कारण गर्व महसूस हो. हर सुबह मैं यही सोचती थी कि एक दिन आपको भी मेरे उपर उतना ही गर्व हो जितना कि मुझे आप पर होता है. मैं आपसे वादा करती हूं कि अब भी मैं इसी सोच के साथ उठूंगी. क्योंकि आप यहीं हैं और मैं आपको महसूस कर सकती हूं. आप मुझमें, खुशी और पापा में बसी हुईं हैं. जो छाप आप हमपर छोड़ गईं हैं वो हमारे आगे चलते रहने के लिए काफी है. लेकिन ये चीज कभी भी पूरी नहीं पड़ेगी. आई लव यूं, आप मेरी सबकुछ हैं".
इस चिट्ठी से एकबात ये भी साफ हो जाती है कि वक्त के साथ भले ही एक फैन अपनी पसंदीदा अभिनेत्री श्रीदेवी को भुला दें. मगर जब बात एक बेटी की होगी तब ऐसा हरगिज नहीं होगा. एक बेटी को हर मुश्किल परिस्थितयों में अपनी मां की याद आएगी. वो उन हंसीं पलों को याद करते हुए खुश होगी जो उसने अपनी मां के साथ बिताए थे. साथ ही उस वक़्त उसकी आंखों में आंसू आएंगे जब उसे जीवन की इन कठिन राहों में अपनी मां की सबसे ज्यादा जरूरत होगी.
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