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समाज
| 5-मिनट में पढ़ें
डॉ. सौरभ मालवीय
@DrSourabhMalviya
New Academic Session 2023-24: नए शिक्षा सत्र का यूं करें अभिनंदन
बच्चे ग्रीष्मकालीन अवकाश की वर्ष भर प्रतीक्षा करते हैं, क्योंकि इसमें उन्हें सबसे अधिक दिनों का अवकाश प्राप्त होता है. बच्चों के लिए ग्रीष्म कालीन अवकाश किसी पर्व से कम नहीं होता. इस समयावधि में उन्हें कोई चिंता नहीं होती अर्थात उन्हें न तो प्रात:काल में शीघ्र उठकर विद्यालय जाने की चिंता होती है और न ही गृहकार्य करने की कोई चिंता होती है.
सियासत
| 6-मिनट में पढ़ें
prakash kumar jain
@prakash.jain.5688
Artificial Intelligence: क्या बच्चों को पढ़ा सीखा सकता है?
एआई किसी लर्नर (प्रशिक्षु) के लिए जानकारी जुटाने में तो सहायता प्रदान कर सकता है लेकिन वह उनके लिए सोच विचार नहीं कर सकता. तो सही सही कहें तो बच्चों को सीखने के लिए, लर्न करने के लिए AI कोई मदद नहीं कर सकता.
समाज
| 2-मिनट में पढ़ें
vinaya.singh.77
@vinaya.singh.77
परीक्षा ज़िंदगी भर चलेगी, बस हारना नहीं है...
सीबीएसई समेत तमाम बोर्ड परीक्षाओं के रिजल्ट आ रहे हैं. जिन्हें लेकर बच्चों के माता पिता खासे उत्साहित हैं. अब इसे उत्साह कहें या कुछ और वो सोशल मीडिया पर ऐसा बहुत कुछ कर दे रहे हैं जो खटकने वाला है.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
Vikas Bhadauriya
स्वामी विवेकानंद के सपनों का भारत बनाने का समय अब आ चुका है!
यह लेख युवाओं के लिए है, जिसमें साधारणतः बात युवाओं पर टिकी हुई है, जहां आप पढ़ेंगे कि किस प्रकार युवाओं को एक परिदृश्य बनाना होगा, जिससे वो अपने स्किल और अपने सामर्थ्य पर अपने स्वयं व देश के लिए वास्तव में दिखावे से बढ़कर कुछ कर सकें.
सोशल मीडिया
| 4-मिनट में पढ़ें
बिलाल एम जाफ़री
@bilal.jafri.7
1943 की 5वीं कक्षा में कॉमर्स पेपर था, जरा सबूत देखिए कि क्यों पढ़ाई करना टेढ़ी खीर था!
इंटरनेट पर वायरल एक 80 साल पुराने कॉमर्स के पेपर ने बड़े बड़े अर्थशास्त्रियों के माथे पर बल ला दिया है. और वो भी इस बात को मान गए हैं कि पुराने ज़माने में हाई स्कूल तक की पढ़ाई करना वाक़ई अपने में टेढ़ी खीर थी.
सियासत
| 5-मिनट में पढ़ें
आर.के.सिन्हा
@RKSinha.Official
देश के उद्योगपति नायक हैं या खलनायक?
हमारे यहां सफल उद्यमियों को लेकर समाज के एक वर्ग की बड़ी नेगेटिव राय रहती है. देख लीजिए कि आजकल देश के दो महत्वपूर्ण औद्योगिक घरानों अंबानी और अदानी के पीछे अकारण सोशल मीडिया पड़ा रहता है.
टेक्नोलॉजी
| 4-मिनट में पढ़ें
बिलाल एम जाफ़री
@bilal.jafri.7
Chatgpt अगर बहुतों के लिए आपदा है तो अमेरिका के लांस जंक ने इसे अवसर में बदल दिया!
चैट जीपीटी भले ही दुनिया के तमाम लोगों के गले मे फंसी हड्डी हो. लेकिन इसी दुनिया में ऐसे भी हैं जिन्होंने इस पर महारत हासिल कर ली है और लाखों के वारे न्यारे कर रहे हैं. इन बातों पर यकीन न हो तो अमेरिका चलिए और लांस जंक से मिलिए.
समाज
|
एक अलग नज़रिया
| 4-मिनट में पढ़ें
ज्योति गुप्ता
@jyoti.gupta.01
उस सरकारी टीचर की कहानी जिसके पढ़ाने के तरीके ने बच्चों को स्कूल आने पर मजबूर कर दिया
सरकारी टीचर खुशबू की कोशिश से इतने बच्चे स्कूल आने लगे हैं कि क्लास में बैठने की जगह तक नहीं बची है. वे हर छात्र में अपने बच्चे की छवि देखती हैं. वे बच्चों को पढ़ाने के लिए नए-नए रोचक तरीके अपनाती हैं. वे ध्यान रखती हैं कि बच्चे स्कूल में बोर ना हो और उनका मन लगा रहे. इसलिए वे खेलते-कूदते, नाचते-गाते, म्यूजिक के साथ बच्चों को पढ़ाती हैं.
सोशल मीडिया
| बड़ा आर्टिकल
prakash kumar jain
@prakash.jain.5688
सोशल मीडिया स्मार्टर होता चला गया और हम स्मार्टनेस खो उसके गुलाम बन गए!
हर इंसान बस एक 'यूजर' है और दुनिया में सिर्फ दो ही धंधे हैं जिनके प्रोडक्ट का इस्तेमाल करने वाले 'यूजर' कहलाते हैं. एक सोशल मीडिया और दूसरा ड्रग्स का धंधा. ड्रग्स की लत लगती है और सोशल मीडिया की भी लत लगती है.